किसी भी देश का कानून उस समाज के अनुरूप होता है। कानून के अनुसार ही जनता को ढलना है। अगर किसी ने देश, राज्य को कानून तोड़ा तो उसे दंडित करने का अधिकार राज्य को होगा। इंडोनेशिया में एक ऐसे ही सजा का मामला आया है। इंडोनेशिया में शरिया शासित प्रांत आचे में चार जोड़ों को बिना शादी शारीरिक संबंध बनाने पर 20-20 कोड़ों की सजा सुनाई गई। इस कोड़े मारने वाली सजा, क्रूरता को लोगों ने जब आंखों से देखा तो सिहर उठे।
मास्क पहने इन सभी जोड़ों का पहले मेडिकल टेस्ट कराया गया। चारों जोड़ों को हथकड़ी बांधकर जमीन पर बैठा दिया। हाथ बंघे जोड़ों को बीस कोड़े मारे गये। इंडोनेशिया का यह प्रांत अपनी कड़ी सजाओं के लिए अक्सर चर्चा में रहता है। कोड़े मारने की सजा के खिलाफ मानवाधिकार संगठन आवाज उठाते रहे हैं। राष्ट्रपति जोको विडोडो से ऐसे सख्त सजा को रोकने की अपील की जाती है। बिना शादी के शारीरिक सम्बन्ध बनाने वाले इस कानून को लेकर आचे के लोग समर्थन करते हैं। ज्ञात हो कि आचे इंडोनेशिया का अकेला शरिया शासित प्रदेश है। लगभग 50 लाख की आबादी वाले आचे प्रांत में 98 फीसदी मुस्लिम रहते हैं।
आमतौर पर यहां इस तरह की कड़ा सजा देखने के लिए लोगों की भारी भीड़ जुटती है। कोरोना वायरस की महामारी के चलते अब छोटी जगह पर कम लोगों के बीच ऐसी क्रूर सजा दी जाती है। साल 2001 में आचे को विशेष स्वायत्ता दी गई थी जिसके बाद यहां शरिया का कानून लागू हो गया था। केंद्र सरकार इसके जरिए अलगाववादी उग्रवाद को रोकना चाहती थी।
आचे में जुएं, धोखाधड़ी, शराब पीने, समलैंगिक या शादी से पहले सम्बन्ध बनाने पर कोड़े मारे जाते हैं। आचे के अभियोजन दफ्तर के अधिकारी इवान ननजर अलावी के मुताबिक सबसे ज्यादा सजा इसलिए दी जाती है ताकि दूसरों को ऐसा अपराध करने से पहले डर लगे।