सालभर पहले 15 अगस्त को एक ऐसा खिलाड़ी रिटायर हुआ था लिमिटेड ओवर्स में भारत के सबसे महानतम खिलाड़ियों में शामिल होता है. वह भारत का सबसे सफल कप्तान है और जिसने अपने करियर में टीम को कई बार मुश्किल हालातों में जगह दिलाई. अप्रत्याशित यानी जिसकी उम्मीद न की गई हो, यह उसने अपने करियर में कई बार किया. फिर चाहे हाथ से फिसल चूके मैच जिताने हो या ऐसे खिलाड़ियों पर जीत के लिए दांव लगाना जिनके बारे में किसी ने सोचा न हो. यह खिलाड़ी कोई और नहीं बल्कि तीन बार आईसीसी खिताब जीतने वाले पूर्व भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धोनी (Mahendra Singh Dhoni) ही हैं. उन्होंने 15 अगस्त 2020 को शाम को संन्यास का ऐलान कर दिया था. उन्होंने एक वीडियो ट्वीट कर वनडे और टी20 क्रिकेट छोड़ने का ऐलान किया था. उन्होंने 39 साल की उम्र में क्रिकेट को अलविदा कहा.
महेंद्र सिंह धोनी ने ‘पल दो पल का शायर हूं’ गाने के बैकग्राउंड के साथ अपने खेलने के दिनों की तस्वीरों का स्लाइडशो पोस्ट किया. इसके साथ उन्होंने लिखा, ‘शुक्रिया- आपके प्यार और सहयोग के लिए शुक्रिया. शाम 7.29 बजे से मुझे रिटायर समझिए.’ धोनी ने 2014 में टेस्ट क्रिकेट छोड़ दिया था. इसके बाद से वे केवल वनडे और टी20 ही खेल रहे थे. वैसे तो धोनी के 2019 वर्ल्ड कप के बाद ही संन्यास लेने की संभावना जताई गई थी लेकिन ऐसा हुआ नहीं. इस टूर्नामेंट के बाद धोनी ने चयनकर्ताओं से कहा था कि उन्हें टीम में नहीं चुना जाए. ऐसे में उनके संन्यास को लेकर काफी अटकलें भी लगाई गईं. फिर धोनी ने 15 अगस्त 2020 को इन सब अटकलों को समाप्त कर दिया.
2019 वर्ल्ड कप में खेला आखिरी मैच
धोनी का आखिरी वनडे मुकाबला 2019 वर्ल्ड कप में न्यूजीलैंड के खिलाफ सेमीफाइनल मैच रहा. इसमें उन्होंने 72 गेंद में 50 रन बनाए थे. वे भारत को जीत दिलाने की तरफ बढ़ रहे थे. लेकिन मार्टिन गप्टिल के एक शानदार थ्रो ने उनका काम तमाम कर दिया. दिलचस्प बात देखिए कि धोनी अपने पहले इंटरनेशनल मैच में भी रन आउट हुए थे. उन्होंने बांग्लादेश के खिलाफ डेब्यू किया था और खाता खोले बिना रन आउट हो गए. धोनी ने 350 वनडे, 90 टेस्ट और 98 टी20 मुकाबले खेले. दिसंबर 2004 से शुरू हुए इंटरनेशनल करियर में उन्होंने कुल 15 हजार से ज्यादा रन, 16 शतक और विकेटकीपिंग में 800 से ज्यादा कैच लपके.