प्रयागराज (Prayagraj) के अटाला में हिंसा के मास्टरमाइंड (mastermind of the violence) मोहम्मद जावेद अहमद उर्फ जावेद पंप (Mohd Javed Ahmed alias Javed Pump) के मकान पर प्रयागराज विकास प्राधिकरण (पीडीए) का बुलडोजर (bulldozer) चला। इसके लिए बीते 10 मई को ही नोटिस जारी किया गया था और उसे अपना पक्ष रखने के लिए 24 मई एवं कार्रवाई की तिथि 12 जून निर्धारित की गई थी। इस दौरान जावेद के घर से कुछ विरोध करने वाले झंडे और पोस्टर भी बरामद हुए हैं।
प्रयागराज में बीते शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद भड़की हिंसा और उपद्रव की वारदात के मास्टरमाइंड मोहम्मद जावेद अहमद के करेली स्थित मकान को पीडीए ने ध्वस्त करने की कार्रवाई रविवार को शुरू कर दी। जावेद के मकान को ध्वस्त करने के लिए जेसीबी और भारी संख्या में पुलिस बल सुबह 10 बजे ही करेली थाने पहुंच गए थे। दोपहर लगभग एक बजे ध्वस्तीकरण की कार्रवाई शुरू कर दी गई। जब बुलडोजर से जावेद के घर को तोड़ा जा रहा था उसी दौरान उसके घर से कुछ विरोध करने वाले झंडे और पोस्टर भी बरामद हुए। सूत्रों के अनुसार उसके घर से प्रतिबंधित संगठन पीएफआई के झंडे भी बरामद हुए हैं।
पीडीए के एक अधिकारी ने बताया कि जावेद का मकान नक्शा पास कराए बगैर बनाया गया था। इसके लिए उसे 10 मई, 2022 को नोटिस जारी किया गया था और उसे अपना पक्ष रखने के लिए 24 मई की तिथि निर्धारित की गई थी। निर्धारित तिथि पर जावेद या फिर उनका वकील नहीं आया और ना ही कोई अभिलेख प्रस्तुत किया गया। इसलिए 25 मई को ध्वस्तीकरण आदेश पारित किया गया। इसके तहत आज कार्रवाई की जा रही है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय कुमार ने शनिवार को मीडियाकर्मियों को बताया था कि जावेद अहमद को पुलिस हिरासत में लेकर उससे पूछताछ की जा रही है, जिसके आधार पर अन्य लोगों की गिरफ्तारी की जाएगी। पुलिस ने घटना के 24 घंटे के भीतर ही 68 उपद्रवियों को हिरासत में लिया था। इसमें चार उपद्रवी नाबालिग पाए गए जिन्हें बाल सुधार गृह भेज दिया गया। वहीं 64 उपद्रवियों को सेंट्रल जेल नैनी भेजने का आदेश दिया गया था। आज भी कुछ आरोपितों को गिरफ्तार किया गया है, जिसमें अटाला मस्जिद के इमाम अली अहमद भी हैं। हालांकि अभी इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जुमे की नमाज के बाद भड़की हिंसा का संज्ञान लेकर पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों को निर्देश दिया कि उपद्रवियों के खिलाफ कार्रवाई जारी रखी जाए। मुख्यमंत्री ने कहा था कि कार्रवाई ऐसी हो जो असामाजिक सोच रखने वाले सभी तत्वों के लिए एक नजीर बने और माहौल बिगाड़ने के बारे में कोई सोच भी न सके। आदित्यनाथ ने बीते शनिवार को जिलाधिकारियों, पुलिस अधीक्षकों, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों और शीर्ष पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये कानून-व्यवस्था की समीक्षा कर आवश्यक दिशा निर्देश दिया था।