यूपी की योगी सरकार ने धर्म छिपाकर लड़कियों को बरगलाने और धर्मांतरण करने के खिलाफ गुरुवार को अध्यादेश पास किया है। लाये गये इस अध्यादेश ( Love Jihad Ordinance) की चर्चाओं के बीच मुरादाबाद से सपा (Samajwadi Party) सांसद एसटी हसन ने “लव जिहाद” को एक राजनीतिक स्टंट बताया है। उन्होंने मुस्लिम लड़कों को सलाह देते हुए कहा कि हिंदू लड़कियों को अपनी ‘बहनों’ की तरह ही मानें और किसी के बहकावे में न आएं। समाजवादी पार्टी सांसद एसटी हसन ने कहा कि बच्चे जब बालिग हो जाते हैं तो अपना जीवनसाथी खुद ही चुन लेते हैं, जिसमें हिंदू मुस्लिम से शादी करता है तो मुस्लिम हिंदू से शादी करता है। आप देखेंगे तो मालूम चलेगा कि शादी तो मर्जी से हुई है, मगर जब समाज का दबाव होता है तो कहा जाता है कि हमें तो पता ही नहीं था कि यह मुस्लिम है।
आपको बता दें कि यूपी की कैबिनेट बैठक में जबरन धर्मांतरण या शादी को लेकर बनाए जाने वाले कानून ‘उत्तर प्रदेश विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अध्यादेश-2020’ के मसौदे को मंजूरी की मुहर लगा दी है। इस अध्यादेश के अनुसार धर्म परिवर्तन करके शादी करने पर किसी प्रकार की कोई रोक नहीं है। धर्मांतरण के माध्यम से शादी को रोकने के लिए एक अहम निर्णय भी लिया गया है जिसमें दूसरे धर्म में शादी करने के लिए जिले के डीएम को 2 माह पहले प्रार्थना पत्र देना होगा।
साथ ही जिला मजिस्ट्रेट को दो महीने पहले सूचना देनी होगी। इसका उल्लंघन करने पर छह माह या फिर तीन साल तक की सजा भी हो सकती है। सख्त कार्रवाई के साथ जुर्माना 10 हजार रुपये से कम नहीं होगा। अगर कोई शादी सिर्फ धर्म परिवर्तन के लिए की गई है तो वह शादी शून्य मानी जाएगी। प्रावधान के अनुसार, किसी एक धर्म से दूसरे धर्म में लड़की के धर्म में परिवर्तन के एक मात्र प्रयोजन के लिए की शादी शून्य की श्रेणी में लाया जाएगा।