न्याय के देवता शनि देव (Shani Dev) की टेढ़ी नजर से बचकर रहना ही अच्छा होता है। शनि देव झूठ बोलने वाले, बुरी आदतें रखने वाले लोगों को बुरा फल देते हैं, वहीं दूसरी तरफ ईमानदार लोगों को रुपया-पैसा, सम्मान दिला देते हैं। ज्योतिष (Astrology) में शनि की साढ़े साती या ढैय्या के दौरान संबंधित राशि वाले जातकों को संभलकर चलने के लिए कहा जाता है। साथ ही कई उपाय भी दिए गए हैं।
शनिवार (Saturday) का दिन शनि देव को समर्पित होता है इसलिए शनि के उपाय (Remedies) शनिवार के दिन ही करना उचित होता है। इसके अलावा साल में पड़ने वाले कई अवसरों पर भी शनि के उपाय करके अच्छे फल प्राप्त किए जा सकते हैं। मगर एक बात समझ लेना आवश्यक है कि शनि देव की पूजा में कोई गलती न हो, वरना यह काफी नुकसान पहुंचा सकता है।
शनि देव की पूजा में न करें गलतियां
शनि देव की पूजा में कोई गलती या गड़बड़ी नहीं होनी चाहिए। बल्कि शनिवार का व्रत (Saturday Fast) रखने और शनि देव की पूजा करने के नियम (Rules) पहले ही अच्छे से पता कर लेने चाहिए। साथ ही शनि के बुरे प्रभाव को दूर करने के उपाय भी सावधानी से करने चाहिए। चाहे शनि को तेल चढ़ाना या शनि से संबंधित पेड़ों की पूजा करना।
शनि देव की पूजा में इन बातों का रखें ध्यान
– इस दिन शनि देव की मूर्ति पर या पीपल के पेड़ पर तेल अर्पित करते वक्त ध्यान रखें कि तेल मूर्ति पर ही चढ़े, ना कि यहां-वहां गिरे। अगर तेल अर्पित करना संभव न हो तो किसी गरीब या जरूरतमंदों को दान कर दें।
– ध्यान रखें कभी भी शनि देव के सामने खड़े होकर दर्शन ना करें, ना ही उनके सामने खड़े होकर उन्हें तेल चढ़ाएं। कभी भी शनि की सीधी नजर आप पर नहीं पड़नी चाहिए।
– अच्छा होगा कि शनि देव के ऐसे मंदिर में दर्शन करें जहां वे मूर्ति की बजाय शिला रूप में स्थापित हों। साथ ही आप पीपल के पेड़ पर तेल चढ़ाना, दीपक जलाना भी बेहतर रहेगा है।
– ध्यान रखें कि शनिवार के दिन जूते-चप्पल, तेल आदि शनि से जुड़ी चीजें न खरीदें। इस दिन चमड़े के जूते-चप्पल गरीब और जरूरतमंदों को दान करना चाहिए।