PSLV का कॉन्ट्रैक्ट पाने के लिए कोशिश में जुटीं एंटिटीज में अडानी की अगुवाई वाला समूह और L&T की अगुवाई वाला समूह भी शामिल है। यह पहली बार है, जब किसी उपग्रह के लॉन्च व्हीकल को बनाने के लिए इसरो (ISRO) के बाहर किसी को कॉन्ट्रैक्ट दिया जाएगा। कॉन्ट्रैक्ट पांच लॉन्च वाहनों के निर्माण के लिए होगा। कई स्रोतों ने टीओआई को पुष्टि की है कि तीन एंटिटीज ने 30 जुलाई को न्यू स्पेस इंडिया लिमिटेड (एनएसआईएल) द्वारा जारी एक आरएफपी (प्रस्ताव के लिए अनुरोध) के जवाब में अपनी बोलियां जमा कीं।
NSIL अंतरिक्ष विभाग (DoS) के तहत काम कर करने वाली एक अंतरिक्ष-पीएसयू है। इसे शुरू में इसरो की एक वाणिज्यिक शाखा के रूप में माना गया था। बाद में लॉन्च वाहनों के उत्पादन, उपग्रहों के मालिक होने आदि का अधिकार दिया गया। एनएसआईएल ने पांच पीएसएलवी के लिए एक्सप्रेशन ऑफ इंट्रेस्ट (ईओआई) की घोषणा की थी, जिस पर पांच एंटिटीज ने प्रतिक्रिया दी थी। उसी के लिए आरएफपी दिसंबर 2020 में जारी किया गया था। एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक, ईओआई के लिए 5 एंटिटीज ने प्रतिक्रिया दी थी। तीन एंटिटीज ने तीन हफ्ते पहले ही आरएफपी के बाद बोलियां जमा की हैं।
भेल भी नहीं है पीछे
तीन एंटिटीज में एक एचएएल और एलएंडटी का कंसोर्शियम है। दूसरा अडानी-अल्फा डिजाइन, बीईएल और बीईएमएल का कंसोर्शियम है। जबकि भेल (BHEL) ने एकल फर्म के रूप में बोली लगाई है। DoS के अनुसार, यह कॉन्ट्रैक्ट न केवल सरकार की मेक-इन-इंडिया पहल को बढ़ावा देगा, बल्कि हर साल अधिक उपग्रहों को लॉन्च करने की इसरो की क्षमता को भी बढ़ाएगा।
लाइसेंस प्राप्त मैन्युफैक्चरर होगी चुनी गई एंटिटी
एनएसआईएल के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक राधाकृष्णन डी ने कहा: “तकनीकी-वाणिज्यिक मूल्यांकन चल रहा है, जिसके बाद बोलियां खोली जाएंगी। हमें पूरी प्रक्रिया कुछ महीनों में पूरी होने की उम्मीद है, और इस समय इस पर और कुछ भी टिप्पणी नहीं कर सकते हैं।” सूत्रों में से एक ने कहा कि इस साल के अंत तक कॉन्ट्रैक्ट दिए जाने की उम्मीद है और चयनित एंटिटी एक लाइसेंस प्राप्त निर्माता होगी। वैसे तो इसरो ने हमेशा उद्योग के साथ मिलकर काम किया है। किसी भी पीएसएलवी लॉन्च में 150 से अधिक उद्योग, बड़े और छोटे, लॉन्च व्हीकल में योगदान करते हैं। यह पहली बार है जब लॉन्च व्हीकल पूरी तरह से उद्योग द्वारा बनाया जाएगा।