असम (Assam) के कोकराझार जिले (Kokrajhar district) में शनिवार को ओडिशा की घटना की तरह एक बड़ा ट्रेन हादसा (train accident) टल गया, जब एक ट्रेन का इंजन और दो अन्य डिब्बों के साथ आगे चला गया, जबकि शेष आठ डिब्बे बाकी ट्रेन से अलग हो गए। ट्रेन का इंजन दो डिब्बों के साथ करीब 600 मीटर तक आगे चला गया। गनीमत की बात यह रही कि पीछे से कोई ट्रेन नहीं आ रही थी, इसलिए बड़ी घटना होते-होते बची।
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक यह घटना कोकराझार और फकीराग्राम रेलवे स्टेशनों के बीच की बताई जा रही है। यहां पर ट्रेन का इंजन दो बोगियों के साथ आगे चला गया और पीछे आठ डिब्बे रह गए। हालांकि, कोई बड़ी दुर्घटना नहीं हुई। उसमें कोई यात्री भी नहीं था। अगर इसी बीच कोई ट्रेन आ जाती तो ओडिशा जैसी घटना बड़ी घटना हो सकती थी।
एक प्रत्यक्षदर्शी ने कहा, हमने इंजन को बोगियों से अलग होते देखा। ट्रेन का इंजन करीब 600 मीटर तक कुछ डिब्बों को छोड़कर चलता रहा। सौभाग्य से ट्रेन के अंदर कोई यात्री नहीं था। हालांकि हमें शुरू में लगा कि यह राजधानी एक्सप्रेस है, लेकिन बाद में हमें पता चला कि यह एक नई ट्रेन थी और हम इसके नाम से अवगत नहीं थे। बाद में जब लोको पायलट को इसका पता चला तो उन्होंने इंजन पीछे लाकर रेलवे स्टेशन से आए गार्ड की मदद से बोगियों को जोड़ दिया।
ओडिशा ट्रेन हादसे में 288 की मौत
बता दें, ओडिशा के बालासोर जिले में शुक्रवार को तीन ट्रेनों के आपस में टकराने के कारण हुए भीषण रेल हादसे ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। इस हादसे में 288 लोगों की मौत हुई है और 900 के करीब लोग घायल हुए हैं।