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बिहार: डीएम अलंकृता पांडे ने रिश्वतखोरी मामले में आंगनवाड़ी सुपरवाइजर का अनुबंध किया रद्द

डीएम ने कहा कि भ्रष्टाचार हमारे नैतिक जीवन मूल्यों पर सबसे बड़ा प्रहार है। जिला प्रशासन भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने के लिए प्रतिबद्ध है और जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत कार्रवाई की जा रही है।

रिश्वतखोरी के खिलाफ कड़े कदम उठाते हुए जहानाबाद की जिला अधिकारी अलंकृता पांडे ने मखदुमपुर बाल विकास परियोजना कार्यालय की महिला पर्यवेक्षिका सावित्री कुमारी का अनुबंध रद्द कर दिया है। यह कार्रवाई सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो के आधार पर की गई, जिसमें सावित्री कुमारी को आंगनवाड़ी सेविका से रिश्वत लेते हुए देखा गया था।

वायरल वीडियो बना कार्रवाई का आधार
जानकारी के मुताबिक, 20 नवंबर 2024 को सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो में सावित्री कुमारी कुछ कागजातों के साथ नोट गिनती नजर आ रही थीं। इस वीडियो को लेकर सार्वजनिक आक्रोश के बाद डीएम अलंकृता पांडे ने मामले का स्वतः संज्ञान लिया। जिला स्तर पर एक जांच दल का गठन किया गया, जिसने सावित्री कुमारी को भ्रष्टाचार में लिप्त पाया। जांच रिपोर्ट और अनुशंसा के आधार पर डीएम ने उनका अनुबंध रद्द करने का आदेश दिया।

जीरो टॉलरेंस की नीति पर जोर
जिला प्रशासन ने इस कार्रवाई के जरिए यह स्पष्ट संदेश दिया है कि भ्रष्टाचार किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। डीएम द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि भ्रष्टाचार हमारे नैतिक जीवन मूल्यों पर सबसे बड़ा प्रहार है। जिला प्रशासन भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने के लिए प्रतिबद्ध है और जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत कार्रवाई की जा रही है।

डीएम की कार्रवाई से जनता में भरोसा बढ़ा
डीएम अलंकृता पांडे की इस सख्त कार्रवाई को लेकर आम जनता में सकारात्मक प्रतिक्रिया देखी जा रही है। लोग इसे प्रशासन के प्रति बढ़ते विश्वास और भ्रष्टाचार के खिलाफ सख्त रुख के रूप में देख रहे हैं।

वहीं, सरकारी तंत्र में भ्रष्टाचार में लिप्त अन्य अधिकारियों और कर्मचारियों में हड़कंप मच गया है।