जीवन और मरण इस दुनिया का शाश्वत सत्य है. जो जन्म लेता हैए उसकी एक न एक दिन मौत होनी ही है. मौत को कोई नही ठुकरा सकता है. जीवन और मृत्यु के बीच हर कोई फासला चाहता है. लेकिन इसके बाद भी हर किसी को एक न एक दिन मृत्यु आनी है. जीवन का एकमात्र हकीकत मृत्यु है. लोग शीघ्र मरना नहीं चाहते, कुछ लोग मृत्यु से डरते है. आज आपको एक ऐसी स्थान के बारे में बताने जा रहे है जहां पर लोग मरने के लिए जाते है. यह पढ़ने में भले ही आपको अजीब लगे लेकिन हकीकत है.
पूरे विश्व से आते है लोग
उत्तर प्रदेश के काशी में एक भवन बनाया गया है. इस का निर्माण वर्ष 1908 में किया गया था. इसको मुक्ति भवन के नाम से जाना जाता है. खास बात यह है कि यहां पर एक पुस्तक ऐसी है जिसमें आने वालों और जाने वालों का नाम दर्ज किया जाता है. यहां पर हर वर्ष पूरे विश्व से कई लोग यहां रहने के लिए आते है. अपने जीवन का आखिर समय ये सभी लोग यहां ही बिताना चाहते है. पूरे विश्व से हिंदू धर्म पर आस्था रखने वाले बड़ी संख्या में लोग अपना आखिरी समय यहां ही गुजारते है.
मरने वालों को लोगों ही रहने की इजाजत
ऐसा बोला जाता है कि यहां पर अंग्रेजों के जमाने में इस धर्मशाला को बनाया गया था. इसमें में 12 कमरे बने हुए है. वहां पर एक छोटा मंदिर और पुजारी भी हैं. सबसे खास बात यहां पर हर किसी रहने की इजाजत नहीं मिलती. यहां पर अधिकांश उन्ही लोगों को स्थान मिलती है जो मृत्यु के बिल्कुल करीब हो. जो लोग अपनी मृत्यु का इन्तजार करते है वे 2 सप्ताह तक यहां बने हुए कमरे में रह सकता है.