जो देश दुनियाभर में आतंकवाद को बढ़ावा देने के लिए बदनाम हो वो आतंकवाद के खिलाफ किस तरह की लड़ाई लड़ेगा यह समझना मुश्किल नहीं है। अब जब पाकिस्तान में आतंकी संगठन लगातार सक्रिय हैं और हमला कर रहे हैं तो ऐसे में पाक सरकार परेशान हो उठी है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने अपने मुल्क से ‘आतंकवाद को खत्म’ करने का संकल्प लिया है। शहबाज शरीफ का यह संकल्प कब और कैसे पूरा होगा होगा यह तो समय के साथ ही पता चलेगा। फिलहाल, ऐसा लगता नहीं है कि पाकिस्तान के पास आतंकवाद से लड़ने की कोई कारगर नीति है।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने यह संकल्प शरीफ ने तब लिया है जब एक दिन पहले अशांत खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में हुए आतंकवादी हमले में एक कैप्टन समेत सात सैनिकों की मौत हो गई थी। रविवार को लक्की मरवत जिले के सरबंद पोस्ट, कच्ची कमर की ओर जा रहे सुरक्षाकर्मियों के काफिले पर आतंकवादियों ने हमला किया था।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, “लक्की मरवत जिले में हुए आतंकी हमले में एक कैप्टन समेत पाकिस्तानी सेना के जवानों की शहादत से मुझे गहरा दुख हुआ है।” उन्होंने कहा, “हमारे बहादुर सैनिकों और नागरिकों का बलिदान हम पर एक ऋण है जिसे हमें अपने देश से आतंकवाद को समाप्त करके चुकाना होगा।”
पाकिस्तानी अधिकारारियों के अनुसार, लक्की मरवत तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान आतंकवादियों का गढ़ है। पाकिस्तान खुद को फिर से मजबूत बना रहे आतंकी संगठन का सामना कर रहा है, जिसकी कथित तौर पर अफगानिस्तान में मजबूत उपस्थिति है। वह अफगानिस्तान के क्षेत्र का उपयोग छिपने, प्रशिक्षण लेने और सीमा पार हमले के लिए करता है। पाकिस्तान लगातार अफगानिस्तान पर इस आतंकी संगठन के खिलाफ कार्रवाई करने का दबाव बनाता रहा है, लेकिन अभी तक इस कोई असर नहीं दिखा है।