असम (Assam) के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा (Chief Minister Himanta Biswa Sarma) ने रविवार को कहा कि देश 26/11 के मुंबई हमलावरों (mumbai attackers) को उचित जवाब नहीं दे सका। सरमा ने श्रीजगन्नाथ मंदिर (Shri Jagannath Temple) में दर्शन करने के बाद यह टिप्पणी की। उन्होंने कहा, ‘यह हम सभी के लिए बेहद दु:खद दिन है। अगर उस समय मनमोहन सिंह की जगह नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री होते तो चीजें बिल्कुल अलग होतीं।’ पाकिस्तान से लश्कर-ए-तैयबा के 10 आतंकवादी 26 नवंबर, 2008 को समुद्री मार्ग से आए और मुंबई में अंधाधुंध गोलीबारी में 166 लोगों की हत्या कर दी थी, जिनमें से 18 सुरक्षाकर्मी थे। इसमें कई अन्य घायल हो गए।
असम के मुख्यमंत्री ने कहा कि मोदी ने हमलावरों को करारा जवाब दिया होता, उन्होंने कहा, ‘यह वाकई दु:खद है कि हम उचित जवाब नहीं दे सके।’ सरमा ने कहा कि कार्तिक महीने के आखिरी 5 दिनों के दौरान त्रिमूर्ति के दर्शन करना सबसे पवित्र माना जाता है। असम के मुख्यमंत्री के साथ पुरी विधायक जटानी सारंगी और भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा भी थे। बता दें कि आतंकी हमलों में शहीद हुए सुरक्षा बलों के जवानों में आतंकवाद निरोधक दस्ते (ATS) के तत्कालीन प्रमुख हेमंत करकरे, मेजर संदीप उन्नीकृष्णन, मुंबई के अतिरिक्त पुलिस आयुक्त अशोक कामटे और वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक विजय सालस्कर शामिल थे।
‘कांग्रेस के शासनकाल में भारत में होते थे आतंकी हमले’
वहीं, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने केंद्र में कांग्रेस नीत संप्रग सरकार के सत्ता में रहने के दौरान आज ही के दिन (26 नवंबर 2008 को) मुंबई में आतंकी हमला होने को याद किया, जो देश में हुआ सबसे वीभत्स आतंकी हमला था। उन्होंने कहा, ‘कांग्रेस के शासनकाल में आतंकी हमले हुए और आतंकवादियों की घुसपैठ हुई, लेकिन आज आतंकी हमले और आतंकवादियों की घुसपैठ नहीं हो सकती है क्योंकि हर किसी को और यहां तक कि आतंकवादियों व उनके आकाओं को भी पता है कि यह प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाला ‘नया भारत’ है। भारत किसी को छेड़ता नहीं है और अगर कोई छेड़ेगा तो यह उसे छोड़ेगा भी नहीं।’ उन्होंने कहा कि चाहे एयर स्ट्राइक हो या सर्जिकल स्ट्राइक, भारत जवाब देना जानता है और इस तरह हमारी सीमाएं सुरक्षित की गई हैं।