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सीएम योगी का बड़ा फैसला, 220 सिलेंडर क्षमता वाला ऑक्सीजन प्लांट लगाएगी यूपी सरकार

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि केंद्र सरकार से 750 मीट्रिक टन ऑक्सीजन आवंटित हुआ है इसकी मांग जरूरत के अनुसार भेजी जाए। इसमें किसी तरह की देरी नहीं होनी चाहिए और इसके वितरण में पारदर्शिता रखी जाए। साथ ही उन्होंने कहा कि प्रदेश में ऑक्सीजन की सुगम उपलब्धता सुनिश्चित करने के हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। डीआरडीओ की सहायता से अगले दो-तीन दिनों में 220 सिलेंडर की क्षमता वाला नया ऑक्सीजन प्लांट स्थापित कर क्रियाशील कर दिया जाएगा। इसके साथ-साथ प्रदेश के अलग-अलग स्थानों पर हर सप्ताह तीन-तीन नए ऑक्सीजन प्लांट भी स्थापित किए जाएंगे। नवीन प्लांट्स के क्रियाशील होने के बाद प्रदेश में ऑक्सीजन की उपलब्धता और बेहतर हो जाएगी। कुछ क्षेत्रों से ऑक्सीजन सिलेंडर के अभाव की सूचना प्राप्त हुई है। देश के सभी सिलेंडर आपूर्तिकर्ताओं से संवाद स्थापित करें। जरूरत के अनुसार इसकी आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। इन कामों के लिए धन का कोई अभाव नहीं है।

ऑक्सीजन के लिए उद्योगों से संपर्क करें

मुख्यमंत्री ने सोमवार को वर्चुअल बैठक के दौरान अधिकारियों से कहा कि प्रदेश में ऑक्सीजन का उत्पादन करने वाली सभी औद्योगिक इकाइयों को चिह्नित कर उनसे संपर्क किया जाए। इनमें एमएसएमई इकाइयों की संख्या बहुतायत है। विशेष परिस्थितियों को छोड़कर फिलहाल सभी औद्योगिक इकाइयों द्वारा उत्पादित कुल ऑक्सीजन का इस्तेमाल मेडिकल संबंधी कामों में ही किया जाए। इन इकाइयों के समीप स्थित अस्पतालों से समन्वय बनाकर इन्हें ऑक्सीजन उपलब्ध कराया जाए। औद्योगिक इकाइयों से ऑक्सीजन वितरण की प्रक्रिया पारदर्शी रखी जाए। मंत्री एमएसएमई और एसीएस एमएसएमई इस काम को तत्परता से पूरा करें।

ऑक्सीजन प्लांट को 24 घंटे बिजली दें

मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी अस्पतालों और ऑक्सीजन प्लांट्स को सातों दिन 24 घंटे बिजली आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग द्वारा मेडिकल ऑक्सीजन की सुचारु आपूर्ति के संबंध में स्थापित कंट्रोल रूम 24 घंटे सक्रिय रहे। वर्तमान स्थिति में न्यूनतम 100 बेड वाले सभी अस्पतालों में स्वयं का ऑक्सीजन प्लांट स्थापित करने की दिशा में कार्यवाही की जाए। इस संबंध में विधायक निधि का सहयोग लिया जा सकता है।

ऑक्सीजन प्लांट की शर्त पर मान्यता

उन्होंने कहा कि रेमिडीसीवीर जैसी जीवनरक्षक दवाओं की कालाबाजारी रोकने के लिए गैंगस्टर या रासुका लगाएं। रेमिडीसीवीर सहित किसी भी प्रकार के जीवनरक्षक दवाओं की कोई कमी नहीं है। सभी जिलों में इनकी उपलब्धता सुनिश्चित रखी जाए। रेमिडीसीवीर के 20,000 से 30,000 बॉयल सोमवार को ही प्रदेश को प्राप्त हो गए हैं। आने वाले तीन दिनों के भीतर रेमिडीसीवीर की नई खेप भी प्राप्त हो रही है। बलरामपुर हॉस्पिटल में बेडों की संख्या बढ़ाकर 700 बेड तक की जाए। मेडिकल कॉलेज को मान्यता देने के लिए ऑक्सीजन प्लांट की शर्त को जोड़ा जाए।