तेलंगाना (Telangana) में कुछ दिन पहले ही एक दूसरे पर आरोप लगाने वाली AIMIM और कांग्रेस (Congress) के बीच में अब तालमेल नजर आने लगा है। यहां कांग्रेस सरकार ने शनिवार को विधानसभा की कार्यवाही संचालित करने के लिए अपने बयानों की वजह से विवादों में रहने वाले अकबरुद्दीन ओवैसी (Akbaruddin Owaisi) को प्रोटेम स्पीकर नियुक्त कर दिया है। नवनिर्वाचित विधायक शनिवार को उनके सामने शपथ लेंगे। हालांकि अकबरुद्दीन ओवैसी को प्रोटेम स्पीकर बनाने को लेकर विवाद शुरू हो गया है। भाजपा विधायक टी राजा का कहना है कि वह अकबरुद्दीन के सामने शपथ नहीं लेंगे।
टी राजा ने कहा कि जब तक मैं जीवित हूं अकबरुद्दीन ओवैसी के सामने शपथ नहीं लूंगा। उन्होंने कहा कि 2018 में भी AIMIM के विधायक को प्रोटेम स्पीकर बना दिया गया था और तब भी मैंने शपथ नहीं ली थी। उन्होंने कहा कि क्या कांग्रेस की सरकार भी बीआरएस की ही तर्ज पर चलेगी। बता दें कि इस बार विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने बीआरएस पर बड़ी जीत दर्ज की है।
राज्य की विधानसभा की ओर से जारी नोटिस में कहा गया है कि स्पीकर के चुनाव होने तक अकबरुद्दीन ओवैसी स्पीकर की जिम्मेदारी संभालेंगे। आर्टिकल 188 के तहत राज्य के नवनिर्वाचित विधायक उनके सामने शपथ ग्रहण करेंगे। बता दें कि किसी भी विधानसभा में प्रोटेम स्पीकर की जिम्मेदारी तब तक होती है जब तक कि विधानसभा अध्यक्ष का चुनाव नहीं हो जाता है। अकसर चुनाव के बाद विधायी कार्यों की शुरुआत प्रोटेम स्पीकर की अध्यक्षता में होते हैं।
भाजपा ने इस तरह से अकबरुद्दीन ओवैसी को जिम्मेदारी दिए जाने का कड़ा विरोध किया है। भाजपा नेताओं का कहना है कि उनका कोई भी विधायक अकबरुद्दीन ओवैसी के सामने शपथ नहीं लेगा। उन्होंने कहा, बीआरएस ने भी इसी तरह एआईएमआईएम को जिम्मेदारी दी थी। जो तेलंगाना में रहने वाले हिंदुओँ की हत्या की बात करता है भला क्या ऐसे व्यक्ति के सामने शपथ ली जा सकती है। भाजपा ने कहा, रेवंत रेड्डी, बीआरएस और एआईएमआईएम का कोई रिश्ता है। विधानसभा में कई और भी वरिष्ठ लोग हैं, जिन्हें यह मौका दिया जा सकता था। हालांकि यह कदम केवल अल्पसंख्यकों के तुष्टीकरण के लिए उठाया गया है।