सैकड़ों वर्षो से बाराबंकी की जनता अपनी जरूरतों के लिए राजधानी लखनऊ पर निर्भर रही खास तौर पर जब बात सेहत की आती है तो लोग लखनऊ के बड़े अस्पतालों की ओर जाते हैं लेकिन कोरोनावायरस की महामारी ने ऐसा संकट पैदा कर दिया है कि लखनऊ के अस्पतालों में अब जगह नहीं बची और लखनऊ के मरीज बाराबंकी के अस्पतालों में भर्ती किए जाएंगे।
दरअसल पिछले एक दशक में बाराबंकी में निजी क्षेत्र में स्वास्थ्य के मामले में अच्छी प्रगति हुई है।
कोरोनॉ वायरस का प्रभाव दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है और इसके मरीजों की संख्या में दिन दुगुनी रात चौगुनी जैसी बढ़ोतरी देखने को मिल रही है जिसे देखते हुए राज्य सरकार द्वारा कोरोनॉ के हल्के लक्षण वाले रोगियों के लिए होम आइसोलेशन का विकल्प तलाश कर उसे प्रभावी किया गया.
जिसके सकारात्मक परिणाम भी देखने को मिल रहे है और जनता द्वारा भी इसमे सहयोग किया जा रहा है इसके बावजूद जनपद लखनऊ में मरीजों को बेड न मिलने की समस्या धीरे धीरे एक बड़ा मुद्दा बनता जा रहा है।वही राजधानी से सटे बाराबंकी जनपद में जिला प्रशासन द्वारा मरीजों के सुचारू रूप से इलाज किये जाने एवम मरीजों को बेड उपलब्ध कराए जाने के प्रभावी इंतेजाम किये गए है।