कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव के लिए आज शुक्रवार को नामांकन का आखिरी दिन है। ऐसे में आज दिन भर हलचल बनी रहेगी। गांधी परिवार के भरोसेमंद नेताओं में से एक अशोक गहलोत अध्यक्ष पद के लिए होने वाले चुनाव की रेस से बाहर हो गए तो वहीं मल्लिकार्जुन खड़गे अब रेस में सबसे आगे चल रहे हैं।
वहीं दिग्विजय सिंह ने शुक्रवार को मीडिया से कहा कि मैंने जीवन भर कांग्रेस के लिए काम किया है। और काम करता रहूंगा। मैं तीन बातों पर कभी समझौता नहीं करता हूं। दलित, आदिवासी और गरीब का पक्ष। दूसरा सांमप्रदायिक महौल बिगाड़ने वाले से और तीसरा मेरी प्रतिबद्धता कांग्रेस और गांधी परिवार के साथ है। मैंने इससे कभी समझौता नहीं किया। खड़गे जी मेरे नेता है। मुझसे सीनियर है। मैंने गुरुवार को उनसे मुलाकात की, उन्होंने कहा कि मैं फॉर्म नहीं भरुंगा। इसके बाद मैंने नामांकन भरने की बात कही। आज मीडिया क माध्यम से उनके फॉर्म भरने की बात का पता चला। मैंने उनसे मुलाकात की। अब उनका इरादा फॉर्म भरने का है। इसलिए मैं उनका प्रस्तावक बनूंगा।
इससे पहले दिग्विजय सिंह के नामांकन भरने के लिए प्रस्तावक बनने के लिए मध्य प्रदेश से गोविंद सिंह के नेतृत्व में 12 एमएलए दिल्ली पहुंच गए। दिग्विजय सिंह के नामांकन भरने की संशय को लेकर सभी नेता उनके निवास पर ही डटे रहें।
राजस्थान की सियासी घमासान के बाद राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव रोचक हो गया। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने के बाद मुख्यमंत्री पद छोड़ने को लेकर विधायकों ने इस्तीफे देकर आलाकमान के समाने शर्तें रख दी। इसके बाद राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव में दिग्विजय सिंह की एंट्री हो गई। दिग्विजय सिंह ने गुरुवार को नामांकन फार्म लिया। उधर गहलोत ने सोनिया गांधी से मुलाकात कर चुनाव नहीं लड़ने की बात कही।