4 मई कमल निशान, देता हूं अपनी वाणी को विराम। अब साफ और सुरक्षित शहर हैं। रंगदारी और फितौती नहीं, यूपी किसी की बपौती नहीं। नो कर्फ्यू, नो दंगा, यूपी में सब चंगा आदि आदि…। यह कुछ विशेष बातें हैं प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की। सोमवार को वह निकाय चुनाव के उम्मीदवारों को विजयश्री दिलाने के लिए रामलीला मैदान की सभा में जनता से रूबरू थे।
योगी अपनी बेबाक बात और दो टूक संवाद के लिए जाने जाते हैं। मीडिया का मंच हो, आम सभा या सदन। लेकिन, यहां उनका अंदाज अलहदा था। लगा जैसे जनता से उनकी अपील वर्ष 2024 के लोकसभा चुनावी लक्ष्य का ब्लूप्रिंट हो। क्योंकि मुरादाबादियों को सिलसिलेवार योजनाओं, सुविधाओं और परियोजनाओं की सौगात देने वाले योगी झोली फैलाकर समर्थन मांग रहे थे। प्रदेश और देश की सरकार के जनकल्याण के कार्य की चर्चा के दौरान लोकोशेड, गोविंदनगर और सोनकपुर पुल की सुविधा आदि का जिक्र कर बैठे। बोले, यहां राजकीय विश्वविद्यालय है। जल्द एयरपोर्ट की सेवा मिलने जा रही है।
बताया, मुरादाबाद देश के चुनिंदा 100 शहरों में एक है। यह स्मार्ट सिटी है। यहां शहर के विकास के लिए 1506 करोड़ की परियोजनाएं दी गयी हैं। वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव के बाद कोयले की भट्ठी से तन, मन और जीवन झुलसाने वाले दस्तकारों को पीएनजी संचालित भट्ठी दी गयी है। अब यहां कोयले के धुएं से मजदूरों का जीवन काला नहीं होता है। अब दस्तकारों को सांस का रोग नहीं होगा। मुरादाबाद को एक्सपोर्ट हब बनाया जा चुका है। महानगर के दस्तकार दिलशाद हुसैन को देश का उच्च पद्मश्री पुरस्कार दिया जा चुका है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिलशाद हुसैन की दस्तकारी का वैश्विक मंच तैयार किया है।
कहा, मुरादाबाद की कलाकृति जर्मनी के चांसलर को उपहार के रूप में सौंपकर प्रधानमंत्री ने मुरादाबाद को जो इज्जत दी है उसका साधारण वर्णन संभव नही है। यह सब कुछ गिनाने के बाद मुख्यमंत्री अपने लक्ष्य की ओर लौटे। यानी की मुरादाबाद की झोली में उपहारों की बरसात करने वाले योगी यहां अपने लिए मांगने की मुद्रा में थे। बोले, मुझे तीसरे इंजन की सरकार के लिए सबका साथ चाहिए। यह सुनते ही भीड़ का ज्वार नारों के घोष में परिवर्तित हो गया। अंत में योगी बोले, चार मई कमल निशान, देता हूं अपनी वाणी को विराम… फिर मुस्कुराकर डायस से उतर गए।