प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ट्विटर अकाउंट हैक हो गया है। ट्विटर अकाउंट हैक होने के बाद अब सरकार एक्शन में आ गई है। अकाउंट हैक की जांच की जा रही है। अकाउंट किसने हैक किया है उसका पता लगाने के लिए सरकार लेटेस्ट टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर रही है। जांच एजेंसियां हैकिंग के सोर्स का पता लगाने का कोशिश कर रही है। केंद्र सरकार इस बात को जानने में जुट गई है कि इस हैकिंग के पीछे कौन था। इसके लिए सरकार ने इंडियन कम्प्यूटर इमरजेंसी रिस्पॉन्स टीम यानी सीईआरटी-इन की टीम को काम में लगाया गया है। हैकिंग की तह तक जाने के लिए टीम लेटेस्ट टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर रही है। इंडियन कम्प्यूटर इमरजेंसी रिस्पॉन्स केंद्र सरकार की एजेंसी है जो मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड इन्फोर्मेशन टेक्नोलॉजी के अधीन काम करती है। इसका काम भारत सरकार की हैकिंग और फिशिंग जैसे साइबर खतरों से निपटना है। ये एजेंसी भारतीय इंटरनेट डोमेन की सुरक्षा संबंधी काम भी देखती है।
रात 2.11 बजे हुआ था अकाउंट हैक
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आधिकारिक ट्विटर हैंडर देर रात हैक हो गया था। रात 2 बजकर 11 मिनट पर इससे एक ट्वीट किया गया जिसमें दावा किया गया कि भारत ने आधिकारिक रूप से बिटकॉइन को कानूनी मान्यता दे दी है और सरकार भी 500 बिटकॉइन खरीदकर लोगों को बांट रही है। दो मिनट बाद ही इस ट्वीट को डिलीट कर दिया गया और फिर 2 बजकर 14 मिनट पर इसी तरह का एक और ट्वीट किया गया।
कुछ देर बाद उस ट्वीट को भी डिलीट कर दिया गया लेकिन तब तक स्क्रीनशॉट वायरल हो चुके थे। करीब घंटेभर बाद 3 बजकर 18 मिनट पर पीएमओ ने ट्वीट कर बताया कि पीएम नरेंद्र मोदी के ट्विटर हैंडल से छेड़छाड़ हुई है। छेड़छाड़ को अब ठीक कर लिया गया है और मामले की जानकारी ट्विटर को दे दी गई है। पीएमओ ने कहा कि इस दौरान जो भी ट्वीट हुए, उन्हें नजरअंदाज किया जाना चाहिए।