रूस-यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध ने अब एक नया मोड़ ले लिया है. यूक्रेन ने घोषणा की है कि उसने अपने तीन गांवों को रूसी सेना के कब्जे से छुड़ा लिया है. डोनेटस्क के पूर्वी क्षेत्र के इन तीन गांवों के साथ यूक्रेन ने पहली बार अपनी जमीन पर कब्जा हासिल किया है. यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लादिमिर जेलेन्सकी ने एक घोषणा में पुष्टि करते हुए कहा है कि कई महीनों के संघर्ष के बाद अब उम्मीद के अनुसार रूसी सेना के खिलाफ जवाबी कार्रवाई का नतीजा मिलना शुरू हो चुका है. लेकिन इस जवाबी कार्रवाई में यूक्रेन के 3 नागरिकों की जान चली गई और करीब 23 लोग घायल हो गए हैं. क्योंकि रिपोर्ट के मुताबिक रूसी सेना ने रूस नियंत्रित इलाके से नागरिकों को निकालने वाली बचाव नौका पर हमला कर दिया था.
कौन से तीन गांवों पर अब यूक्रेन का फिर से कब्जा
डोनेटस्क क्षेत्र का नेस्कुचने फिर से यूक्रेन के कब्जे में आ गया है. इससे पहले यूक्रेन की सेना ने ब्लागोदात्ने के पास के एक गांव को फिर से हासिल करने की बात कही थी और सैनिकों का यूक्रेन की एक ध्वस्त हुई इमारत पर यूक्रेनी झंडा लहराने का वीडियो जारी किया था. इसके साथ ही यूक्रेन की सेना ने ब्लागोदात्ने के उत्तर पश्चिम के गांव माकारविका को भी वापस ले लिया है.
अब तक की सबसे खराब आपदा
कुछ दिनों पहले यूक्रेन के काखोवका बांध के टूटने से खेरसोन में 30 से ज्यादा गांव और कस्बे बाढ़ की चपेट में आ गए थे. इन गांवों में 20 युक्रेन के और 10 रूसी सेना के कब्जे में हैं. बताया जा रहा है कि इस बाढ़ में करीब 2000 से ज्यादा गांव पूरी तरह से पानी में समा गए और 40 हजार से ज्यादा जिंदगियों खतरे में है.
इन्हीं लोगों के बचाव के लिए गई नौका पर हुए हमले में कई नागरिक मारे गए थे और घायल हो गए थे. दरअसल यह लोग रूसी नियंत्रण वाले कखोवका बांध के नष्ट होने के बाद हुई तबाही में फंस गए थे. यूक्रेनी अधिकारियों का दावा है कि 7 लोगों की मौत सहित 35 लोग घायल हुए जिसमें 7 बच्चे भी शामिल हैं. यूक्रेन ने इस बांध को उड़ाने के पीछे भी रूस का हाथ बताया है. यूक्रेनी अधिकारियों का कहना है कि इससे ब्लैक सी और निप्रो के पानी में करीब 450 टन तेल फैल गया है. खेरसॉन में आई इस बाढ़ में करीब 77 शहरों और हजारों गांव चपेट में आए हैं. डेढ़ लाख से ज्यादा लोगों के पास पीने तक का पानी मौजूद नहीं है.
काखोव्का हाइड्रोइलेक्ट्रिक पॉवर प्लांट यूक्रेन के खेरसॉन प्रांत के नोवा काखोव्का शहर में मौजूद है, जो वर्तमान में रूस के नियंत्रण में है. इस बांध का निर्माण सोवियत काल में हुआ था. यह निप्रो नदी पर बनाए गए छह बांधों में से एक है. इस बांध की विशालता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि यह यूक्रेन के उत्तरी से दक्षिणी इलाके तक विस्तार लिए हुए हैं. रिपोर्ट बताती हैं कि दुनिया की सबसे बड़ी झीलों में से एक अमेरिका की ग्रेट सॉल्ट में जितना पानी है उतना इस बांध में समाया हुआ है. इस वजह से ही तबाही का बहुत बड़े पैमाने पर होना माना जा रहा है.