केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह वायुसेना के विशेष विमान से जॉलीग्रांट एयरपोर्ट पहुंचे. यहां से वो पौड़ी के पीठसैंण के रवाना हुए. इसके बाद पेशावर कांड के नायक और स्वतंत्रता सेनानी वीर चंद्र सिंह गढ़वाली की पुण्यतिथि पर ‘गढ़वाली’ की स्मृति में प्रतिमा का अनावरण और स्मारक का लोकार्पण किया. उन्होंने कहा कि देश की सीमा पर 1000 किमी लंबी सड़कों का निर्माण किया जा रहा है. जिनमें 800 किमी सड़क LAC और अंतरराष्ट्रीय सीमा से सटी हुई है. ऐसे में सुरक्षा और सामरिक दृष्टि से देश का फायदा होगा.
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने वीर चंद्र सिंह गढ़वाली के पैतृक गांव पीठसैंण में उनकी स्मृति में प्रतिमा का अनावरण और स्मारक का लोकार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की. इस दौरान उन्होंने कहा कि आज उन्हें पीठसैंण में वीर चंद्र सिंह गढ़वाली की प्रतिमा के अनावरण समारोह में सम्मिलित होने का सौभाग्य मिला है. वीर चंद्र सिंह गढ़वाली एक सच्चे सैनिक थे. साथ ही वे एक प्रखर स्वतंत्रता संग्राम सेनानी भी थे. उन्होंने अंग्रेजो भारत छोड़ो आंदोलन में भी बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया.
देवभूमि के साथ ‘वीरभूमि और तपोभूमि’ है उत्तराखंडः रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि उत्तराखंड की यह धरती भारत ही नहीं पूरी दुनिया में ‘देवभूमि’ के नाम से जानी जाती है. मगर यह देवभूमि एक ‘वीरभूमि और तपोभूमि’ भी है. यह हमें कभी नहीं भूलना चाहिए. वैसे तो उत्तराखंड का गठन हुए केवल बीस साल का समय ही बीता है, लेकिन उत्तराखंड का इतिहास और यहां की परम्पराएं तो सदियों पुरानी हैं. यह गढ़वाल तो ‘वीर बडु का देस है’, ‘बावन गढ़ का देस’ है. हर गढ़ में बहादुरी और पराक्रम के किस्से मशहूर हैं.