पठानकोट का द व्हाइट मेडिकल कॉलेज फिर दोबारा सुर्खियों मे आया है। इस बार कॉलेज हॉस्टल से एमबीबीएस के छात्रों का लाखों रुपये का सामान गायब हो गया है। ऐसे में जिन छात्रों ने कॉलेज मैनेजमेंट के खिलाफ कुछ समय प्रदर्शन किया था उनमें से कुछ छात्रों का हॉस्टल से सामान गायब होना चिंता का विषय है।
कमरे और अलमारी समेत कई बॉक्स वीडियो में खाली पड़े दिखे। जितने भी छात्र सामान लेने आए थे सभी ने खाली कमरों की वीडियो और फोटोग्राफी की। छात्रों ने डीसी पठानकोट आदित्य उप्पल और एसएसपी दलजिंदर सिंह ढिल्लों को ईमेल के जरिये और पुलिस थाना मामून कैंट में लिखित शिकायत दर्ज करवाई है और कॉलेज मैनेजमेंट व स्वर्ण सलारिया पर कार्रवाई की मांग करते हुए सामान वापस दिलाने की मांग की। हालांकि छात्र पुलिस सुरक्षा के बीच ही सामान लेने के लिए हॉस्टल गए थे।
आरोप… शैक्षणिक कॅरिअर को नुकसान पहुंचाने के लिए सामान करवाया गायब
जिले के उच्च अधिकारियों को भेजी ईमेल में छात्रों ने आरोप लगाया कि उनकी किताबें, अध्ययन नोट्स, लॉग बुक, अध्ययन सामग्री और मेडिकल किट समेत आदि सामान कॉलेज मैनेजमेंट ने जानबूझकर गायब करवा दिया है। यह उनके शैक्षणिक कॅरिअर को नुकसान पहुंचाने और बर्बाद करने के लिए किया गया है, क्योंकि अंतिम परीक्षाएं केवल 2 महीनों में होने वाली हैं। आरोप लगाया कि 10 सितंबर 2024 को केवल छोटे समूहों में छात्रों को कॉलेज और हॉस्टल के अंदर जाने की अनुमति थी, वह भी बिना मोबाइल फोन के। छात्रों ने मौके पर मौजूद पुलिस और जिला मजिस्ट्रेट नायब तहसीलदार जसपाल सिंह बाजवा को टूटे और कटे हुए ताले और गायब सामान की जानकारी दी।
गहनता से जांच होगी, गायब सामान दिलाया जाएगा: डीसी
पठानकोट डीसी आदित्य उप्पल ने कहा कि कॉलेज के जो छात्र हैं, उनको हॉस्टल से सामान ले जाने के लिए 10 सितंबर से कुछ दिनों तक का समय रखा गया था कि वे अपना सामान लेने के लिए आए हैं लेकिन, जब छात्र इन तीन दिनों में आए तो उनको अपना सामान नहीं मिला। प्रशासन गहनता से जांच करने के बाद उनका सामान वापस दिलाएगा।
बच्चों ने कुछ समय पर किया था प्रदर्शन, मैनेजमेंट से बताया जान को खतरा
कुछ समय पहले द व्हाइट मैडिकल कालेज के 150 के करीब छात्रों ने डीसी कांप्लेक्स में कॉलेज मैनेजमेंट और स्वर्ण सलारिया के खिलाफ प्रदर्शन करते हुए आरोप लगाया था कि हॉस्टल में जरूरत अनुसार सुविधा न मिलने पर रोष जताते थे तो उनके साथ बदसलूकी की गई। छात्रों ने कॉलेज मैनेजमेंट से अपनी जान को खतरा भी बताया। इसके बाद एडीसी अंकुरजीत सिंह ने छात्रों की शिकायत के बाद तीन सदस्यीय जांच कमेटी बिठाई और छात्रों के रात को रुकने का प्रबंध गुरुद्वारा श्री बारठ साहिब में करवाया। 12 जुलाई को पुलिस सुरक्षा और जिला मजिस्ट्रेट की उपस्थिति में सुबह बसों के जरिये अपने-अपने घरों के लिए कॉलेज से कुछ जरूरी सामान लेकर ही रवाना हुए। जबकि बाकी सामान बच्चों ने हॉस्टल के कमरों में ताले लगा कर रखे थे, जिनकी चाबियां छात्रों के पास ही थी।
बिजली सप्लाई ठप होने से नहीं खंगाले जा सके सीसीटीवी : एसएचओ
थाना मामून की एसएचओ रजनी बाला ने कहा कि पुलिस जब छात्रों का सामान गायब होने पर जांच के लिए पहुंची तो हॉस्टल की बिजली सप्लाई ठप होने से उन्होंने सीसीटीवी नहीं खंगाल पाई। अब दोबारा जांच में सीसीटीवी देखे जाएंगे और पता लगाएंगे की उनका सामान कैसे गायब हुआ है। करीब 90 छात्रों और उनके अभिभावकों ने कॉलेज मैनेजमेंट और स्वर्ण सलारिया के खिलाफ शिकायत दी है। कॉलेज मैनेजमेंट ने सामान के बारे में कुछ भी पता होने से मना किया है। पुलिस ने उच्च स्तर पर जांच शुरू कर दी है। शुक्रवार को अभी और बच्चे सामान लेने के लिए आ रहे हैं।