बांग्लादेश की सुरक्षा एजेंसियों ने शनिवार को 30 साल के शैकत मंडल को गिरफ्तार किया है। इस गिरफ्तार शख्स को दुर्गा पूजा उत्सव के दौरान बांग्लादेश में मंदिरों पर हिंदुओं के खिलाफ हिंसा और भीड़ हमलों के पीछे दूसरा प्रमुख संदिग्ध माना जा रहा है। बांग्लादेश में रैपिड एक्शन बटालियन (आरएबी) ने बताया कि इस दूसरे प्रमुख संदिग्ध ने फेसबुक पर लाइव करते हुए लोगों को उकसाया और हिंसा भड़काई।
शैकत मंडल ने फेसबुक लाइव कर 17 अक्तूबर को सांप्रदायिकता फैलाई
आरएबी के अधिकारियों ने बताया कि उत्तर पश्चिमी रंगपुर के पीरगंज उप-जिले में 17 अक्तूबर को हुई हिंसा के मास्टरमाइंड में से एक शैकत मंडल और उसके साथी को शनिवार को ढाका के बाहरी इलाके गाजीपुर से गिरफ्तार किया गया। 17 अक्तूबर को मंडल की फेसबुक पोस्ट के बाद पीरगंज में भड़की सांप्रदायिक हिंसा में हिंदुओं के कम से कम 70 घरों और दुकानों को आग लगा दी गई थी। शैकत की गिरफ्तारी एक दिन पहले 35 वर्षीय इकबाल हुसैन और नौ अन्य छात्रों को हिरासत में लेने के बाद हुई है। इकबाल ने दुर्गा पूजा स्थल पर कुरान शरीफ की किताब रखकर ईशनिंदा की लहर पैदा की थी। उसे फिलहाल सात दिन की पुलिस रिमांड पर रखा गया है क्योंकि अन्य सुरक्षा एजेंसियां भी उससे पूछताछ करेंगी।
दुनियाभर के इस्कॉन मंदिरों में विरोध
बांग्लादेश में इस्कॉन मंदिर में तोड़फोड़ के बाद से देश में अल्पसंख्यकों पर हमलों को लेकर दुनियाभर में शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। दुनियाभर के इस्कॉन मंदिर में सुबह 10 बजे से रात 10 बजे तक जारी प्रदर्शनों के दौरान दिन में प्रार्थना की जाएगी शाम को बांग्लादेश की हिंसा में मारे गए लोगों के लिए दीपक और मोमबत्तियां जलाई जाएंगी। इस्कॉन के राधाराम दास ने कहा, टोक्यो से टोरंटो तक, हम बांग्लादेश में जो कुछ भी हुआ उसके लिए प्रार्थना और विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि वे चाहते हैं कि बांग्लादेश में गिरफ्तार आरोपियों को फांसी दी जानी चाहिए।