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आशीष मिश्रा को झटका, दूसरी जमानत याचिका भी हुई खारिज

लखीमपुर हिंसा (Lakhimpur Kheri Violence) मामले में मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा (Ashish Mishra) को एसआईटी (SIT) की रिपोर्ट आने के बाद दूसरा झटका लगा है. कोर्ट ने उनकी दूसरी जमानत अर्जी (bail plea) को भी खारिज कर दिया है. लखीमपुर सीजेएम कोर्ट में आशीष मिश्रा की तरफ से बदली गई धाराओं पर जमानत अर्जी डाली गई थी. इस पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने दूसरी जमानत अर्जी भी खारिज कर दी है.

मामले में जांच कर रही एसआईटी के इंस्पेक्टर ने बीते दिनों मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा समेत सभी 13 आरोपियों पर लापरवाही से गाड़ी चलाने के साथ ही गैर इरादतन हत्या की धाराओं को हटाकर सोची समझी साजिश के तहत हत्या और हत्या के प्रयास की धाराओं को कोर्ट के आदेश पर जोड़ा था. जांच अधिकारी की अर्जी पर सुनवाई करने के बाद कोर्ट ने मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा समेत सभी 13 आरोपियों की रिमांड इन नई धाराओं में बना दी थी.

साजिश बनाकर हत्या करने के प्रयास के आरोप

मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा समेत सभी आरोपी तभी से साजिश रच कर हत्या और हत्या का प्रयास लाइसेंसी असलहे के दुरुपयोग समेत तमाम धाराओं में ज्यूडिशियल कस्टडी में भेजे गए थे. मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा मोनू की तरफ से दूसरी जमानत अर्जी डाली गई थी. अब आशीष मिश्रा पर लगी नई धाराओं में जमानत अर्जी डाली गई, इसे कोर्ट ने खारिज कर दिया है. शुक्रवार को जमानत अर्जी पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने विवेचक की रिपोर्ट के आधार पर माना कि मामला संज्ञेय अपराध का है, जमानत योग्य नहीं है. इसके बाद जमानत अर्जी को खारिज कर दिया गया.

पीएम के साथ सांसदों की बैठक से दूर रहे टेनी

वहीं प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के लोकसभा और राज्यसभा सांसदों के साथ बैठक की थी. जानकारी के मुताबिक प्रधानमंत्री के साथ उत्तर प्रदेश के सांसदों की बैठक में लखीमपुर खीरी के सांसद व गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र टेनी मौजूद नहीं थे. बताया जा रहा है कि इस बैठक में 40 सांसदों को बुलाया गया था. लेकिन इस बैठक में टेनी की गैरमौजदूगी ने कई तरह के सवाल पैदा किए हैं. विपक्ष लगातार टेनी के इस्तीफे की मांग रहा है.

असल में लखीमपुर में अक्टबूर के महीने में हुई हिंसा में आठ लोगों की मौत हो गई थी. इसमें चार किसानों और दो बीजेपी कार्यकर्ता, एक पत्रकार और एक ड्राइवर की मौत हो गई थी. इसके बाद विपक्ष अजय मिश्रा को लेकर आक्रामक है. विपक्ष का कहना है कि गृहराज्य मंत्री को इस्तीफा देना चाहिए. लेकिन अभी तक सरकार विपक्ष के दबाव में नहीं आई. लेकिन लखनऊ में विधानसभा से लेकर दिल्ली में संसद तक विपक्षी दल इस्तीफे की मांग कर रहे हैं. हालांकि अजय मिश्रा केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह से भी मुलाकात कर चुके हैं. वहीं यूपी में चुनाव को देखते हुए बीजेपी कोई रिस्क नहीं लेना चाहती है.