समाजवादी पार्टी (SP) में आजकल अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) से एक तरफ आजम खान (Aazam khan) सहित कई मुस्लिम नेता नाराज चल रहे हैं तो दूसरी तरफ चाचा शिवपाल सिंह यादव (Shivpal singh yadav) से भी सियासी तकरार छिड़ी हुई है। इस बीच रालोद अध्यक्ष जयंत चौधरी ने रामपुर में आजम खान के परिवार से मुलाकात की। इस पर गुरुवार को शिवपाल सिंह यादव ने कहा, ‘राजनीति में शिष्टाचार भेंट होती रहती हैं और होनी भी चाहिए। हम भी कहीं न कहीं अब बहुत जल्दी उनसे भेंट करना चाहेंगे। वैसे तो उनका परिवार लगातार हमारे सम्पर्क में है और शीघ्र ही हम भी कोशिश करेंगे कि आजम भाई से मुलाकात करें।’ आज अचानक सामने आए शिवपाल के इस ‘भाई प्रेम’ को लेकर सियासी जानकारों का एक धड़ा मानने लगा है कि शिवपाल या तो बीजेपी में शामिल होंगे या आजम जैसे नाराज नेताओं के साथ मिलकर कोई नया मोर्चा बना सकते हैं।
मीडिया से बातचीत में शिवपाल ने कहा कि इलेक्शन से पहले मैं गया था। जेल में उनसे मुलाकात की थी। उनका स्वास्थ्य बहुत अच्छा नहीं है। उनके साथ जो उत्पीड़न हो रहा है, एक राजनीतिक व्यक्ति, इतने बड़े लीडर के साथ ऐसा होना अच्छा नहीं है। राजनीति में ऐसा नहीं होना चाहिए। बदले की भावना से कभी काम नहीं करना चाहिए। वहीं रामपुर पहुंचे जयंत चौधरी के आजम खान के परिवार से मुलाकात की खबरें और तस्वीरें सामने आईं तो राजनीतिक गलियारों में तरह-तरह की अटकलें लगाई जाने लगीं। लोग अनुमान लगाने लगे कि शायद अखिलेश यादव ने आजम खान को मनाने के लिए जयंत चौधरी को भेजा हो लेकिन थोड़ी देर बाद ही अखिलेश ने साफ कर दिया कि उन्होंने जयंत को नहीं भेजा।