केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने शनिवार को तेलंगाना (Telangana) के मुख्यमंत्री (Chief Minister) के चंद्रशेखर राव (K Chandrashekhar Rao) पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने तांत्रिकों की सलाह (Tantric’s advice) के बाद अपनी पार्टी का नाम (party name change) बदला है। वित्त मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री केसीआर ने तांत्रिक और अंकशास्त्र के जानकारों की सलाह पर न केवल राज्य सचिवालय जाना बंद कर दिया है, बल्कि लंबे समय तक महिलाओं को अपने मंत्रिमंडल में शामिल भी नहीं किया। दशहरा के दिन राव ने 2024 के लोकसभा चुनावों से पहले पार्टी की राष्ट्रीय विस्तार योजनाओं के तहत तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) का नाम बदलकर भारत राष्ट्र समिति (BRS) कर दिया था।
सीतारमण ने एक बयान में कहा, ‘तेलंगाना की भावना को समझने के लिए टीआरएस का गठन किया गया था। राव ने तेलंगाना को धोखा दिया और तांत्रिकों की सलाह पर टीआरएस का नाम बदलकर भारतीय राष्ट्र समिति कर दिया।’ उन्होंने कहा कि जब तेलंगाना का गठन हुआ था, तब राव ने महिला सशक्तीकरण के बारे में भी बात की थी, ”लेकिन चार साल तक (2014 से 2018 तक) टीआरएस सरकार में एक भी महिला मंत्री नहीं शामिल की गई थी’।
एक साल तक कैबिनेट में कोई महिला नहीं थी
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि दक्षिणी राज्य में टीआरएस के फिर से सत्ता में आने के बाद भी लगभग एक साल तक कैबिनेट में कोई महिला मंत्री नहीं रही। उन्होंने कहा, ‘केसीआर ने तांत्रिकों और अंकशास्त्रियों की सलाह पर सचिवालय जाना बंद कर दिया, कई वर्षों तक महिलाओं को अपने मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया और अब अपनी पार्टी का नाम बदल लिया है।’
‘टीआरएस के शासन में घट गया तेलंगाना का राजस्व’
सीतारमण ने कहा कि टीआरएस के शासन काल में तेलंगाना राजस्व-अधिशेष वाले राज्य की श्रेणी से राजस्व-घाटा वाले राज्य के रूप में तब्दील हो गया है। कालेश्वरम परियोजना के बारे में उन्होंने कहा कि इसे 40,000 करोड़ रुपए के बजट के साथ पूरा किया जाना था, जो बढ़कर 1.4 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच गया है, जबकि इसके वास्तविक कारणों का पता नहीं चल सका है। सीतारमण ने आरोप लगाया कि टीआरएस सरकार सभी मोर्चों पर विफल रही है।