राजस्थान के डूंगरपुर में शिक्षक भर्ती-2018 में टीएसपी क्षेत्र के अनारक्षित 1167 पदों को एसटी अभ्यार्थियों से भरने की मांग को लेकर प्रदर्शन जारी है। अब इस प्रदर्शन ने हिंसक रूप ले लिया है। इस दौरान हुई गोलीबारी में अमन नाम के एक शख्स की मौत हो गई, जबकि कई अन्य लोग घायल बताए जा रहे हैं। मामले की गंभीरता को देखते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा और वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ बैठक की। फिलहाल अभी भी इलाके में स्थिति तनावपूर्ण बताई जा रही है।
जानकारी के मुताबिक प्रदर्शनकारियों का एक दल इस मामले में मंत्री अर्जुन सिंह बामनिया से मुलाकात करने गया था। मुलाकात चल ही रही थी कि इसी दौरान अन्य प्रदर्शनकारी फिर से उग्र हो गए, जिन्हें रोकने के लिए पुलिस को गोली चलानी पड़ी। इस दौरान एक शख्स की मौत हो गई। पुलिस अधिकारियों के मुताबिक अभी ये बात तय नहीं है कि उस शख्स की मौत पुलिस की गोली से हुई है या किसी और की। हालात को काबू में करने के लिए डीजी क्राइम एमएल लाठर, एडीजी एसीबी दिनेश एमएन, जयपुर के पुलिस आयुक्त आनंद श्रीवास्तव समेत कई अधिकारियों को हेलीकॉप्टर के जरिए डूंगरपुर भेजा गया है।
वहीं रणसागर इलाके के पास उपद्रवियों ने तीन बाइक को आग के हवाले कर दिया। इतना ही नहीं प्रदर्शनकारियों ने आसपुर-डूंगरपुर मार्ग को ब्लॉक कर दिया है। हालातों को देखते हुए भारी संख्या में पुलिसबल की तैनाती की गई है। पुलिस ने कई इलाकों में मोर्चा संभाला हुआ है। बताया जा रहा है कि आसपुर रोड के बाद सागवाड़ा रोड को भी बंद कर दिया गया है।
राष्ट्रीय राजमार्ग पर फिलहाल शांति है। वहीं मामले को सुलझाने के लिए सरकार हरकत में आ गई है। उदयपुर से 35 किलोमीटर दूर परसाद में टीएडी मंत्री अर्जुन बामणिया और अभ्यर्थियों के बीच बातचीत जारी है। बैठक के बाद सुलह होने की उम्मीद है। बैठक सीडब्ल्यूसी सदस्य रघुवीर मीणा के निवास पर बैठक हो रही है।
वहीं मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने डूंगरपुर हिंसा मामले का समाधान निकालने के लिए टीएडी मंत्री अर्जुन बामणिया के साथ डूंगरपुर जिले के विधायकों से चर्चा की। बैठक में मंत्री और विधायकों को आंदोलनकारियों से संपर्क करके उन्हें बातचीत के लिए मनाने की रणनीति पर चर्चा की गई।
बैठक के बाद टीएडी मंत्री ने कहा कि सरकार आंदोलनकारियों युवाओं से बातचीत करने को तैयार है। युवाओं को कुछ लोगों ने बहका दिया है। सरकार कानून के अनुसार उनकी मांगों का हल निकालने और बातचीत के लिए तैयार है। वहीं कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला का कहना है कि हिंसा किसी बात का समाधान नहीं है।