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राजस्थान में आरएसएस की बैठक: मुस्लिमों से अपील, ‘सिर काटने’ जैसी घटनाओं का सामने आकर करें विरोध

राजस्थान के उदयपुर में हुई कन्हैयालाल की हत्या को लेकर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) ने मुस्लिम समुदाय से खुलकर विरोध करने की अपील की है। संघ ने कहा है कि हिंदू समाज ने जिस तरह से शांतिपूर्ण तरीके से विरोध किया है, वही किसी भी बात के विरोध का सभ्य तरीका होता है।

झुंझुनू स्थित खेमी शक्ति मंदिर परिसर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की अखिल भारतीय प्रांत प्रचारक बैठक के पूर्ण होने पर शनिवार को अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने कहा कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के साथ लोक भावना का भी ध्यान रखना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘उदयपुर में जो नृशंस हत्या हुई वह अत्यंत निंदनीय है। इसकी जितनी भर्त्सना हो वह कम है। हमारे देश में लोकतंत्र है। संवैधानिक लोकतांत्रिक अधिकार है। किसी को अगर कोई बात पसंद नहीं आई तो उस पर प्रतिक्रिया देने के लिए लोकतांत्रिक तरीका अपनाना चाहिए।’

मुस्लिम समाज को आगे आकर करना चाहिए विरोध: आंबेकर
आंबेकर ने कहा कि सभ्य समाज इस प्रकार की घटना की निंदा ही करता है। हिन्दू समाज शांतिपूर्ण, संवैधानिक तरीके से इस मामले को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दे रहा है। मुस्लिम समाज से भी अपेक्षा है कि ऐसी घटना का निषेध करे। कुछ बुद्धिजीवियों ने इसका निषेध किया है, लेकिन मुस्लिम समाज को भी सामने आकर इसका बढ़चढ़कर विरोध करना चाहिए। उन्होंने कहा कि ऐसी घटनाएं न समाज हित में हैं और न ही देशहित में है। इसका सबको मिलकर निषेध करना बेहद जरूरी है।

शताब्दी वर्ष को लेकर बना प्लान
इस दौरान आंबेकर ने कहा कि 2025 में संघ कार्य को प्रारम्भ हुए सौ वर्ष पूर्ण हो रहे हैं। संघ के शताब्दी वर्ष को किस तरह से मनाना है, इसे लेकर बैठक में योजना बनी है। 2024 तक देश भर में एक लाख स्थानों पर शाखाओं को ले जाएंगे और समाज के सभी वर्गों में संघ कार्य पहुंचे एवं समाज जागरण के साथ समाज में सकारात्मक वातावरण बने, इसके लिए संघ कोशिश करेगा।