अफगानिस्तान में हथियार के बल पर तालिबान की वापसी हो चुकी है। तालिबान की सरकार बनने के साथ एक नया मंत्रालय चर्चा में है। यह मंत्रालय बेहद ‘क्रूर‘ कानूनों को लागू कराने के लिए बनाया गया है। यह मंत्रालय कानून लागू करायेगा और और लोगों को बाध्य कर देगा। इस मंत्रालय को अफगानिस्तान पर अमेरिकी सेना के हमले के बाद बंद कर दिया था लेकिन तलिबान द्वारा अब इसे वापस शुरू किया जा रहा है। न्यूयॉर्क पोस्ट के मुताबिक तालिबान के इस नए मंत्रालय का नाम मिनिस्ट्री ऑफ प्रोपेगेशन वर्च्यू एंड प्रिवेंशन ऑफ वाइस है। तालिबान की अंतरिम सरकार में सद्गुण के प्रचार और बुराई की रोकथाम मंत्रालय का गठन किया गया है। इस मंत्रालय के जरिए शरिया कानून लागू कराया जाएगा। अफगानिस्तान के सेंट्रल जोन के मुखिया मोहम्मद युसूफ ने बताया कि इस मंत्रालय का मुख्य उद्देश्य इस्लाम की सेवा करना है। युसूफ ने यह भी कहा कि हम इस्लामी नियमों के अनुसार सजा देंगे। उन्होंने कहा कि हम शरिया कानून का पालन करेंगे।
मोहम्मद युसूफ ने कहा कि हत्या की सजा जान लेकर दी जाएगी। जिसने जानबूझकर ये अपराध किया हो, उसे भी मार दिया जाएगा। अगर जानबूझकर नहीं किया है तो एक निश्चित राशि का भुगतान करने जैसी कोई और सजा भी हो सकती है। युसूफ ने बताया कि चोरी हुई तो हाथ काट दिया जाएगा। शादी के बाहर अवैध सबंध बनाने वालों पर पत्थरबाजी की जाएगी। पत्थर मार कर मौत की सजा दी जाएगी।
उन्होंने बताया कि इसमें पुरुषों और महिलाओं दोनों को एक ही तरीके से सजा दी जाएगी। यूसुफ का कहना है कि सजा के लिए चार गवाहों की आवश्यकता होगी और उन सभी गवाहों की कहानी एक जैसी होनी चाहिए। अगर कहानी में थोड़ा सा भी अंतर है तो कोई सजा नहीं होगी। उन्होंने कहा कि अगर वे सभी एक ही बात, एक ही तरह और एक ही समय कह रहे हैं तो सजा होगी। बकौल यूसुफ अगर वे दोषी पाए जाते हैं, तो हम ही उन्हें सजा देंगे। सजा का लक्ष्य अपराध को रोकना होगा।