रूसी संसद के मुख्यालय ‘क्रेमलिन’ ने कहा है कि यूक्रेन के नियंत्रण में रहे जिन चार क्षेत्रों को रूस में शामिल किए जाने को लेकर जनमत संग्रह कराया गया है उन्हें शुक्रवार को देश में जोड़ लिया जाएगा। इसे लेकर अमेरिका और पश्चिमी देशों ने कहा है कि यह झूठ और अवैध ढंग से कराया गया जनमत संग्रह है और इसे किसी भी सूरत में मान्यता नहीं दी जाएगी। इसे लेकर रूस और पश्चिमी देशों में नया टकराव पैदा होने की आशंका बढ़ गई है।
क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने गुरुवार को संवाददाताओं से कहा कि यूक्रेन के चार क्षेत्रों – लुहांस्क, दोनेत्सक, खेरसान और जापोरिझिया को क्रेमलिन में एक समारोह के दौरान रूस में शामिल कर लिया जाएगा। पेसकोव ने कहा कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन क्रेमलिन के इस कार्यक्रम में शामिल होंगे। इसी कार्यक्रम के दौरान जनमत संग्रह कराए गए चारों क्षेत्रों को आधिकारिक तौर पर रूस में शामिल करने की घोषणा की जाएगी।
पेसकोव ने गुरुवार को संवाददाताओं से कहा कि चार क्षेत्रों के प्रमुख क्रेमलिन के सेंट जॉर्ज हॉल में शुक्रवार को एक समारोह के दौरान रूस में शामिल होने के लिए संधियों पर हस्ताक्षर करेंगे। यूक्रेन और पश्चिमी देशों ने इस जनमत संग्रह की निंदा की है। नाटो देशों ने कहा है कि वह रूस के खिलाफ जल्द ही प्रतिक्रियात्मक कदम उठाएगा।
अमेरिकी नागरिकों को रूस छोड़ने का अलर्ट
रूस-यूक्रेन में जंग को थमता न देखते हुए अमेरिका ने अपने नागरिकों के लिए सुरक्षा अलर्ट जारी किया है। उसने अपने देश के नागरिकों से तुरंत रूस छोड़ने को कहा है। उसने कहा, जो कोई भी अमेरिकी नागरिक इस वक्त रूस में हैं वे तत्काल वहां से निकल जाएं और जो रूस जाने की योजना बना रहे हैं वे फिलहाल वहां की यात्रा से बचें।
ब्लिंकन ने रूस पर यूक्रेन में ‘भूमि हड़पने’ के लिए जनमत संग्रह कराने का आरोप लगाया
अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने गुरुवार को यूक्रेन में जनमत संग्रह के बाद रूस पर “भूमि हड़पने” का आरोप लगाया और कहा कि अमेरिका कभी भी दिखावटी जनमत संग्रह की वैधता या परिणाम को मान्यता नहीं देगा। ब्लिंकन ने कहा कि क्रेमलिन का दिखावटी जनमत संग्रह यूक्रेन में भूमि हड़पने के एक और प्रयास को छिपाने का एक निरर्थक प्रयास है। यह स्पष्ट है कि जनमत संग्रह के परिणाम मास्को द्वारा प्रायोजित थे और यूक्रेन के लोगों की इच्छा को प्रतिबिंबित नहीं करते हैं।
उन्होंने आरोप लगाया कि “यह रूस के परदे के पीछे द्वारा आयोजित किया गया नाजायज तमाशा है और यह अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन करता है। यह अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के सिद्धांतों का उल्लंघन है।” ब्लिंकन ने कड़े शब्दों में कहा कि रूस ने अपने कब्जे वाले क्षेत्रों में अधिकांश आबादी को भागने के लिए मजबूर कर दिया है और यूक्रेन के नागरिकों को अपनी सुरक्षा और अपने प्रियजनों की सुरक्षा के डर से बंदूक की नोक पर मतदान करने के लिए मजबूर किया गया।
फिनलैंड की सरकार ने कही यह बात
इस बीच फिनलैंड ने कहा कि वह शुक्रवार से अपने यहां अधिकांश रूसी पर्यटकों के प्रवेश पर रोक लगाएगा। फिनलैंड की सरकार ने बताया कि रूसी पर्यटकों पर प्रतिबंध गुरुवार आधी रात से ही लागू होगा। अब देश में रूसी पर्यटकों के प्रवेश पर पाबंदी लगा दी गई है। सरकार ने कहा कि वह रूस से लगी अपनी सीमा पर यात्रियों की आवाजाही को सीमित करेगी। पर्यटक वीजा पर आने वाले रूसी नागरिकों पर पाबंदी लगाएगी। विदेश मंत्री पेक्का हाविस्टो ने कहा कि सैद्धांतिक रूप से इस फैसले का मकसद फिनलैंड में रूसी पर्यटकों पर पूरी तरह से पाबंदी लगाना है।
तीन रूसी अंतरिक्षयात्री वापस आए
अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन अभियान पर गए तीन रूसी अंतरिक्षयात्री (कॉस्मोनॉट्स) सकुशल वापस आ गए हैं। ‘द सोयुज एमएस-21’ नाम के अंतरिक्ष यान से आलेग आर्तेमयेव, डेनिस मातवेयेव और सेर्जेय कोर्साकोव जमीन पर आए। यह झेजकाजगन शहर से 150 किलोमीटर दूर कजाकिस्तान के स्टेपीज घास के मैदान में उतरा। तीनों अंतरिक्ष यात्री स्टेशन पर गत मार्च में गए थे। आर्तेमयेव के लिए यह उनका तीसरा अंतरिक्ष अभियान था और वह अब तक अंतरिक्ष में कुल 561 दिन बिता चुके हैं। मातवेयेव और कोर्साकोव के लिए यह पहला अंतरिक्ष अभियान था। दोनों ने अंतरिक्ष स्टेशन पर 195 दिन बिताए।