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बांग्लादेश : चारों ओर अराजकता! वाहनों में भरकर आ रहे लुटेरे, महिलाओं से रेप… बदतर हुए ढाका के हालात

नफरत की सबसे निर्मम झलक देखनी है तो बांग्लादेश (Bangladesh) आइए. यहां महिलाओं (women) के चेहरों पर डर (Fear), बच्चों की खामोशी और बुजुर्गों की बेबसी आपको बताएगी कि यहां के हालात कितने खराब हैं. एक अच्छे कल के लिए बांग्लादेश की भीड़ ने शेख हसीना (sheikh hasina) की सत्ता को तो उखाड़ फेंका था, लेकिन आज इस देश में जो हो रहा है उससे भविष्य के खतरे पर भी सवाल खड़े होने लगे हैं. देश में हर ओर अराजकता (Anarchy) माहौल है. सड़कों पर इंसानियत, कानून और शर्म की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं.

 

डर के साए में जी रहे लोग

बांग्लादेश में हाल इतने बेहाल हैं कि लोग डर के साए में जी रहे हैं. लोगों के घरों को लूटा जा रहा है. रात भर लोग घरों में जग रहे हैं. उन्हें डर हैं कि कहीं उनके घर को लुटेरे निशाना न बना लें. ये हालात सिर्फ बांग्लादेश की राजधानी ढाका के ही नहीं हैं, बल्कि बांग्लादेश के हर कोने से ऐसी ही घटनाएं सामने आ रही हैं.

महिलाओं से हो रहे रेप

हालात इतने खराब हैं कि लुटेरे ट्रकों में भरकर आ रहे हैं और पूरे-पूरे इलाके को टारगेट कर रहे हैं. घरों में लूट करने के साथ ही महिलाओं के साथ बलात्कार की भी घटनाएं सामने आ रही हैं. घरों को आग लगा दी जा रही है. बदमाश इतने बेखौफ हैं कि वह अधिकारियों और नेताओं किसी को नहीं छोड़ रहे हैं.

पुलिस नदारद, आर्मी का हेल्पलाइन नंबर बंद

कानून प्रवर्तन एजेंसियों की चल रही हड़ताल के कारण देश में कोई पुलिस नहीं है. सेना ने आतंकियों, बदमाशों और लुटेरों द्वारा किए गए हमलों के ऐसे किसी भी मामले की रिपोर्ट करने के लिए फोन नंबर उपलब्ध कराए हैं. लेकिन हालात ये हैं कि लोग जब इन नंबरों पर कॉल कर रहे हैं तो या तो कोई फोन नहीं उठा रहा या फिर नंबर ही बंद आ रहा है.

हिंदुओं पर हो रहे हमले

हिंदू उपद्रवियों के निशाने पर हैं. मंदिरों को जलाया जा रहा है. हिंदू समुदाय के लोगों का टारगेट करके मारा जा रहा है. बांग्लादेश के प्रमुख अखबार ‘द डेली स्टार’ ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि देश के कम से कम 27 जिलों में भीड़ ने हिंदू घरों और व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर हमले किए, तोड़फोड़ और आगजनी की और सामान लूट लिया. खुद जमात-ए-इस्लामी ने माना है कि हिंदुओं पर हमले बढ़ गए हैं.

बांग्लादेश की हिंदू महिला ने सुनाई थी आपबीती

हाल ही में बांग्लादेश की हिंदू महिला ने आपबीती सुनाई थी. उसने बताया, मैं या घर का कोई भी मेंबर पिछले एक हफ्ते से बाहर नहीं निकला. रसोई में सामान खत्म हो चुका. नमक के साथ चावल उबालकर देर दोपहर खाते हैं ताकि रात में भूख न लगे. फिर रात में पहरा देते हैं. पहले आदमी जागते थे. अब हमने भी पारी पकड़ ली. बांग्लादेश में आए राजनैतिक भूचाल का असर पार्लियामेंट तक नहीं रहा, ये आग आम घरों को भी झुलसा रहा है. हिंदू माइनोरिटी सॉफ्ट टारगेट है. घर-दुकान जलाए जा रहे हैं. मंदिर तोड़े जा रहे हैं. भीड़ की भीड़ उन बस्तियों पर हमला कर रही है, जहां हिंदू आबादी है. रिपोर्ट्स के मुताबिक, 27 ऐसे जिले हैं, जहां अल्पसंख्यक ये सब झेल रहे हैं. लेकिन सबसे बुरी हालत है औरतों की.

देश छोड़कर भाग रहे लोग

शेख हसीना के देश छोड़ने के बाद से लगातार लोग पलायन कर रहे हैं. भारत-बांग्लादेश सीमा पर भी सख्ती बढ़ा दी गई है. लेकिन हजारों लोग भारत में दाखिल होने के लिए खड़े हैं. इसी बीच जलपाईगुड़ी में करीब 1 हजार से ज्यादा बांग्लादेशी हिंदू पहुंच गए हैं. वे बॉर्डर पार कर भारत आना चाहते हैं. भारत में इनके घुसपैठ के प्रयास को BSF ने रोक रखा है. बीएसएफ ने उन्हें सतकुरा सीमा पर रोक लिया है.