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सुनिधि चौहान और पारुल गुलाटी ने रिलीज किया ‘मर्जी की मालकिन’ सॉन्ग, महिला सशक्तिकरण की दिखी झलक

बॉलीवुड अभिनेत्री पारुल गुलाटी ने मशहूर गायिका सुनिधि चौहान के साथ विश्व संगीत दिवस पर एक नया गाना ‘मर्जी की मालकिन’ रिलीज किया है। यशराज मुखाटे द्वारा रचित और संगीतबद्ध यह गाना केवल एक मधुर धुन नहीं है, बल्कि यह महिलाओं की अपनी पसंद, आवाज और जीवन के सफर को बयां करता है। यह गीत साहस, स्वतंत्रता और बिंदास महत्वाकांक्षा का प्रतीक है। यह पारुल गुलाटी के निजी विकास को दर्शाता है, जो एक अभिनेत्री से लेकर एक सफल उद्यमी बनीं और लंबे समय से अपने मंच के जरिए युवा लड़कियों और महत्वाकांक्षी महिलाओं को प्रेरित करती रही हैं।

पारुल ने की सुनिधि की जमकर तारीफ

इस गाने के बारे में बात करते हुए पारुल ने कहा, ‘मर्जी की मालकिन महज एक शब्द नहीं, बल्कि एक दृढ़ संदेश है। हर महिला को अपने निर्णय, अपने सपनों और अपने रास्ते की कमान संभालने का अधिकार है। मैं यशराज का शुक्रिया अदा करती हूं, जिनके बिना यह गाना संभव नहीं था।’ सुनिधि के साथ काम करने के अनुभव पर पारुल ने कहा, ‘सुनिधि के साथ काम करना एक सपने जैसा रहा। वह एक प्रेरणा हैं, और उनकी आवाज में वही जुनून है जो इस गाने के लिए जरूरी था। हम चाहते हैं कि यह गाना हर उस लड़की के दिल में एक नई चिंगारी जगा दे जो इसे सुने। अपनी कहानी खुद गढ़ें।’

महिलाओं को प्रेरित करने का है मकसद

यह गाना उन तमाम महिलाओं के लिए है जिन्हें बार-बार इंतजार करने, समझौता करने या ढलने की सलाह दी जाती है। पारुल कहती हैं, ‘यह गाना हर उस लड़की के लिए है जो चुपके से अपने सपनों का साम्राज्य रच रही है। मैं चाहती हूं कि यह गाना किसी के सबसे साहसी फैसले का हिस्सा बने।’ सुनिधि की दमदार आवाज और पारुल के निडर दृष्टिकोण के साथ, ‘मर्जी की मालकिन’ एक गीत से बढ़कर एक आंदोलन बन गया है। चाहे यह लाउडस्पीकर पर जोर-शोर से बजे या इयरफोन्स में धीमे-धीमे गूंजे, यह गाना हर सुनने वाले को अपनी कहानी खुद लिखने के लिए प्रेरित करता है।