प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि पूर्वोत्तर क्षेत्र अभूतपूर्व प्रगति कर रहा है और सरकार इस क्षेत्र की विकास गाथा को गति देने के लिए प्रतिबद्ध है। प्रधानमंत्री ने ‘राइजिंग नॉर्थईस्ट इन्वेस्टर्स समिट’ में यह बात कही।
उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर की विविधता इसकी सबसे बड़ी ताकत है और यह क्षेत्र विकास में अग्रणी बनकर उभर रहा है। उन्होंने दो दिवसीय कार्यक्रम का उद्घाटन करते हुए कहा कि पूर्वोत्तर में अभूतपूर्व प्रगति हो रही है। हम इसकी विकास गाथा को गति देने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
इस कार्यक्रम में क्षेत्र के मुख्यमंत्री, केंद्रीय मंत्री, नौकरशाह, राजनयिक तथा अन्य लोग शामिल हो रहे हैं। उद्घाटन सत्र में उद्योगपति मुकेश अंबानी, गौतम अदाणी, अनिल अग्रवाल तथा अन्य लोग शामिल हुए। मोदी ने कहा कि उनकी सरकार के लिए ‘ईस्ट’ का मतलब है ‘‘सशक्तीकरण, कार्य, सुदृढ़ीकरण और परिवर्तन।’’ उन्होंने कहा कि एक समय था जब पूर्वोत्तर को केवल सीमांत कहा जाता था, लेकिन अब यह विकास में अग्रणी है और वह क्षेत्र अभूतपूर्व प्रगति देख रहा है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि पूर्वोत्तर पहले बम, बंदूक और रॉकेट का पर्याय था, जिसने वहां के युवाओं से बहुत से अवसर छीन लिए लेकिन पिछले दशक में पूर्वोत्तर में 10,000 से अधिक युवाओं ने हिंसा छोड़ दी है। उन्होंने कहा कि पिछले दशक में पूर्वोत्तर में शिक्षा क्षेत्र में 21,000 करोड़ रुपये से अधिक का निवेश किया गया है। प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘चाहे आतंकवाद हो या नक्सलवाद, हमारी सरकार की कतई बर्दाश्त नहीं करने की नीति है।’’ अधिकारियों ने बताया कि शिखर सम्मेलन का उद्देश्य पूर्वोत्तर क्षेत्र को अवसरों की भूमि के रूप में पेश करना, वैश्विक और घरेलू निवेश को आकर्षित करना और प्रमुख हितधारकों, निवेशकों और नीति-निर्माताओं को एक मंच पर लाना है।