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मुइज्जू को भारत से दुश्‍मनी पड़ी आर्थिक रूप से भारी, भारतीय पर्यटकों ने मालदीव से बनाई दूरी

भारत और मालदीव (India and Maldives) के बीच रिश्ते अब एक बार फिर से पटरी पर लौट गए हैं। द्वीप देश के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू (President Mohamed Muizzu) को भारत की अहमियत का तब अंदाजा हुआ, जब भारतीय पर्यटकों (Indian Tourists) ने मालदीव से मुंह मोड़ लिया, जिससे उसे भारत की ‘दुश्मनी’ आर्थिक रूप से भारी पड़ गई। पिछले साल की शुरुआत में मालदीव के कुछ मंत्रियों ने पीएम मोदी को लेकर आपत्तिजनक बातें कही थीं, जिसके बाद दोनों देशों के रिश्ते बिगड़ गए थे। भारतीय पर्यटकों ने मालदीव से दूरी बना ली थी, जिसका असर भी दिखाई दिया। साल 2024 में मालदीव पहुंचने वाले भारतीय पर्यटकों की संख्या में 37.47 फीसदी की गिरावट आई।

एक रिपोर्ट के अनुसार, मालदीव में पिछले साल महज 1.30 लाख भारतीय पर्यटक ही पहुंचे, जबकि 2023 में यह आंकड़ा 2.09 लाख था। मालदीव एक द्वीप देश है और वहां आने वाले पर्यटकों से ही इकॉनमी चलती है। भारतीय पर्यटकों के मुंह फेर लेने की वजह से मालदीव को कई महीनों तक आर्थिक दिक्कतों का सामना करना पड़ता रहा था। पिछले डेढ़ दशक से भारतीय पर्यटक मालदीव के टॉप-10 देशों के पर्यटकों में शामिल रहे हैं। बीते दशक में भारत हमेशा टॉप-5 देशों में रहा है।

यहां तक कि 2020 के बाद कुछ सालों तक मालदीव पहुंचने वाले भारतीय पर्यटकों की संख्या दुनिया के अन्य देशों की तुलना में सबसे अधिक थी। 2020 में 11.3 फीसदी से बढ़कर 2021 में यह आंकड़ा 22.1 फीसदी तक पहुंच गया। हालांकि, फिर 2022 में 14.4 फीसदी और 2023 में गिरकर 11.1 फीसदी हो गया। पिछले साल भारत छठे पॉजिशन पर रहा। उससे पहले, चीन, रूस, यूके, जर्मनी और इटली जैसे देश थे। 2021 में मालदीव पहुंचने वाले भारतीय पर्यटकों की संख्या 2.91 लाख तक पहुंच गई थी।