सीएम भगवंत मान की ओर से प्रदेश के किसानों को धान की सीधी बुआई यानि डीएसआर अपनाने के लिए किए प्रयासों को बढ़ावा मिला है। खरीफ की फसल की बुआई का आधा सीजन बाकी रहने के बावजूद पानी के बड़े स्तर पर बचत करने वाली डीएसआर तकनीक के तहत क्षेत्रफल में पिछले साल के मुकाबले 15 फीसद विस्तार दर्ज किया गया है।
इस बार दो लाख एकड़ से अधिक क्षेत्रफल में धान की सीधी बुआई हो चुकी है, जो कि पिछले साल पूरे खरीफ की फ़सल सीजन दौरान 1.72 लाख एकड़ था। पंजाब के कृषि और किसान भलाई मंत्री गुरमीत सिंह खुड्डियां ने इसको एक बड़ी सफलता बताते हुए कृषि विभाग द्वारा निश्चित लक्ष्य अनुसार इस सीजन में डी.एस.आर. तकनीक अधीन 5 लाख एकड़ क्षेत्रफल में धान की सीधी बुआई होने की आशा अभिव्यक्त की है।
उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार द्वारा किसानों को डी.एस.आर. तकनीक अपनाने के लिए उत्साहित करने के लिए 1500 रुपए प्रति एकड़ वित्तीय सहायता दी जा रही है। कृषि और किसान भलाई विभाग द्वारा 2024- 25 दौरान इस तकनीक को अपनाने वाले किसानों को वित्तीय सहायता प्रदान करने के लिए 50 करोड़ रुपए रखे गए है।
गुरमीत सिंह ने बताया कि पंजाब सरकार ने साल 2023- 24 दौरान डी.एस.आर. तकनीक अपनाने वाले 17,116 किसानों को 20. 33 करोड़ रुपए की वित्तीय सहायता प्रदान की गई थी।
पंजाब सरकार द्वारा धरती निचला पानी बचाने के लिए किए जा रहे यत्नों का हिस्सा बनने की अपील करते राज्य के अन्य किसानों को धान की सीधी बिजाई करने के लिए प्रेरित किया।
उन्होंने कहा कि जिन किसानों ने धान की सीधी बिजाई की है, उनको वित्तीय सहायता प्राप्त करने के लिए 15 जुलाई, 2024 तक पोर्टल agrimachinerypb.com पर रजिस्टर करना होगा।
कृषि मंत्री ने कहा कि डी.एस.आर. तकनीक न केवल पानी की संभाल में सहायक होती है, बल्कि इससे मज़दूरी की लागत भी कम होती है और ज्यादा झाड प्राप्त होता है।