कोरोना से जारी जंग में वैक्सीनेशन (Vaccination) को अब तक सबसे बड़ा हथियार माना जा रहा है. देश के अधिकतर राज्यों में टीकाकरण का तीसरा चरण भी शुरू हो चुका है और लोग भी इसमें सहयोग कर रहे हैं. इसी के साथ लोग कोरोना से बचने के लिए तमाम उपाय कर रहे हैं और जो लोग संक्रमित हैं उनका इलाज किया जा रहा है. इस बीच एक दवा को लेकर बड़ी खबर सामने आई है. दवा को लेकर ऐसा दावा किया जा रहा है कि इससे कोरोना महामारी का खात्मा हो जाएगा और दवा को गोवा सरकार ने मंजूरी भी दे दी है.
गोवा सरकार ने दी मंजूरी
कोरोना मरीजों के इलाज में गोवा सरकार (Goa Government) ने आइवरमेक्टिन (Ivermectin) दवा के इस्तेमाल को मंजूरी दी है. जो 18 साल से ऊपर संक्रमित मरीजों को इलाज के दौरान दी जा सकेगी.इस दवा को देने से बुखार खतरनाक रूप नहीं ले सकेगा और मरीज की जान के खतरे को कम किया जा सकेगा.इस संबंध में गोवा के स्वास्थ्य मंत्री विश्वजीत राणे ने कहा, ‘आइवरमेक्टिन दवा सभी हेल्थ सेंटर्स पर मिलेगी. ये दवा सभी लोगों को लेनी होगी चाहे उनमें कोरोना के लक्षण हों या नहीं. हम इस दवा का इस्तेमाल प्रिवेंटिव क्योर यानी बचाव के रूप में कर रहे हैं. सरकारी हेल्थ सेंटर्स पर सभी मरीजों के ये दवा मिलेगी. आइवरमेक्टिन 12 MG दवा का इस्तेमाल 5 दिनों तक करना होगा. यूके, इटली, स्पेन और जापान के एक्सपर्ट्स ने इस दवा को कोरोना मृत्यु दर कम करने में कारगर पाया है. न सिर्फ मृत्यु दर बल्कि रिकवरी और वायरल लोड कम करने में भी इसका बेहतर योगदान होता है.’
बता दें, गोवा से पहले किसी भी राज्य ने इस दवा को मंजूरी नहीं दी है. गोवा एक ऐसा पहला राज्य बन गया है जिसने कोरोना से होने वाली मृत्यु दर को कम करने के लिए इस दवा को मंजूरी दी है. इससे कोरोना संक्रमित मरीजों की जान बचाने में मदद मिलेगी. हालांकि, ये दवा सिर्फ 18 साल से ऊपर के मरीजों को ही दी जा सकेगी. दवा के साथ-साथ राज्य सरकार प्रदेश में कोरोना नियमों का भी सख्ती से पालन करवा रही है. जिससे बढ़ते संक्रमण को काबू में किया जा सके. क्योंकि दवा और वैक्सीन अपना काम करती हैं मगर लोगों का सावधान व सतर्क रहना सबसे जरूरी है. अगर कोरोना के नियमों का सख्ती से पालन किया जाए तो इस महामारी को हराया जा सकता है.
क्या बोले वैज्ञानिक?
आइवरमेक्टिन दवा को लेकर एक रिसर्च में दावा किया गया है कि, अगर कोरोना के इलाज में इस दवा को वैश्विक स्तर पर शामिल किया जाता है तो कोरोना महामारी का खात्मा हो सकता है. कोरोना के इलाज में वैज्ञानिकों ने भी आइवरमेक्टिन को काफी असरकारी माना है और सबसे ज्यादा दिलचस्प बात ये है कि सिर्फ डॉक्टर नहीं बल्कि वैज्ञानिक भी आइवरमेक्टिन को एक चमत्कारिक दवा मान रहे हैं. जिससे मृत्यु दर को कम किया जा सकता है और कोरोना को हराया जा सकता है. एक बार फिर बता दें, भारत में अभी सिर्फ गोवा सरकार ने अपने प्रदेश में आइवरमेक्टिन दवा के इस्तेमाल को मंजूरी दी है. गोवा के अलावा अभी किसी दूसरी राज्य सरकार ने इस दवा को कोरोना के इलाज में शामिल नहीं किया है.