फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों को दक्षिण-पूर्वी फ्रांस की यात्रा के दौरान एक शख्स ने सरेआम तमाचा मार दिया। थप्पड़ लगाने वाले व्यक्ति का तत्काल पकड़ लिया गया है। इस मामले में दो लोगों को हिरासत में लिया गया है। पकड़े गए लोगों से सख्त पूछताछ की जा रही है। बताया जा रहा है कि यह तमाचा मारने की घटना उस समय हुई जब मैक्रों दक्षिण-पूर्वी फ्रांस के ड्रोम क्षेत्र के दौरे पर थे। यहां वो रेस्तरां और छात्रों से मिल रहे थे ताकि कोविड-19 महामारी की स्थिति में बात हो सके। लोगों महामारी के बाद सामान्य हो रहे जीवन की जानकारी दे रहे थे।
वायरल वीडियो में मैक्रों सफेद रंग की शर्ट में सामने खड़ी लोगों की भीड़ की तरफ जाते हुए देखे जा रहे हैं। इस बीच तमाचा जड़ने वाला शख्स यह बोलते हुए सुना जा रहा है कि डाउन विद मैक्रोनियां। इस घटना के बाद सिक्योरिटी गार्ड्स ने आरोपी को मौके पर ही दबोच लिया। हाल ही में फ्रांसीसी सेना को सेवा देने वाले एक गुट ने राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों को इस्लाम को लेकर हिदायत दी थी। इस गुट का कहना है कि इस्लाम धर्म को रियायत देने की वजह से फ्रांस का ‘अस्तित्व’ दांव पर लग चुका है। यह गुट इस्लाम धर्म को रियायत देने के पक्ष में नहीं है। फ्रांसीसी सेना में सेवारत सैनिकों के इस गुट का यह पत्र कंजर्वेटिव मैगजीन Valeurs Actuelles में प्रकाशित हुआ था।
इस मैगजीन में पिछले महीने भी इसी तरह का एक पत्र प्रकाशित किया था। मैग्जीन में गृह युद्ध की चेतावनी दी गई थी। बाद में फ्रांस के गृह मंत्री और इमैनुएल मैक्रों के करीबी सहयोगी जेराल्ड डारमेनिन ने इस पत्र को कुछ लोगों की ‘कच्ची पैंतरेबाजी’ करार दिया। मंत्री ने अनाम पत्र लिखने वालों में ‘साहस’ की कमी का आरोप लगाया था। अप्रैल महीने में फ्रांस में सीनेट की ओर से एक नए प्रस्ताव के समर्थन में वोट किए जाने से सोशल मीडिया पर मुस्लिम समुदाय की ओर से नाराजगी जताई गई थी। इस प्रस्ताव में सार्वजनिक जगहों पर 18 वर्ष से नीचे की लड़कियों के हिजाब पहनने पर रोक लगाने का प्रावधान है। ये प्रस्ताव ‘सेपरेटिज्म’ बिल का हिस्सा है। यह अभी प्रभावी नहीं हुआ है। एक महीने पहले स्विट्जरलैंड के वोटरों ने बुरका और नकाब पर रोक लगाने के लिए मतदान किया था।