भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ी (Indian badminton player) मालविका बंसोड़ (Malvika Bansod) ने अपनी शानदार फॉर्म जारी रखते हुए गुरुवार को यहां चाइना ओपन (China Open) में अपने से ऊंची रैंकिंग (High ranking) वाली क्रिस्टी गिलमोर (Christy Gilmore) के खिलाफ कड़े मुकाबले में जीत हासिल कर पहली बार सुपर 1000 क्वार्टर फाइनल में प्रवेश किया। 43वीं रैंकिंग वाली मालविका ने एक घंटे पांच मिनट तक कड़ी मेहनत की और फिर महिला एकल के राउंड-ऑफ-16 मुकाबले में दो बार की कॉमनवेल्थ गेम्स पदक विजेता और दुनिया की 25वें नंबर की खिलाड़ी स्कॉटलैंड की गिलमोर को 21-17, 19-21, 21-16 से हराया।
मैच के बाद मालविका ने कहा, “यह पहली बार है जब मैं सुपर 1000 टूर्नामेंट का क्वार्टर फाइनल खेलूंगी, इसलिए यह मेरे सपने के सच होने जैसा है और मेरे जीवन की अब तक की सबसे बड़ी उपलब्धि है।”
उन्होंने कहा, “मैंने टूर्नामेंट से पहले इस बारे में सपना देखा था कि अगर मैं क्वार्टर फाइनल में पहुंच गई तो कैसा रहेगा और अब मैं शीर्ष 8 में हूं, इसलिए यह एक शानदार एहसास है।” मैच को लेकर भारतीय खिलाड़ी, जो अब गिलमोर के खिलाफ 3-2 से आगे चल रही है, ने कहा, “इस भाग से बहुत अधिक बहाव है, इसलिए मुझे पिछले गेम के अंतिम हिस्सों और दूसरे गेम में भी नियंत्रण करना मुश्किल लगा। लेकिन मुझे खुशी है कि भगवान ने मेरी मदद की।”
22 वर्षीय खिलाड़ी ने पेरिस ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता इंडोनेशिया की ग्रेगोरिया मारिस्का तुनजुंग को हराने के एक दिन बाद यह जीत हासिल की है। नागपुर की शटलर को लगता है कि वह यहां की मुश्किल परिस्थितियों में शटल को नियंत्रित करने में सक्षम है। उन्होंने कहा, “मेरी रिट्रीविंग अच्छी तरह से काम कर रही है, मैं दूसरों की तुलना में शटल को बेहतर तरीके से नियंत्रित करने में सक्षम हूं। दोनों खिलाड़ियों के लिए परिस्थितियां थोड़ी मुश्किल हैं, लेकिन मैं इसे बेहतर तरीके से संभालने में सक्षम हूं।”
हालांकि, प्रतियोगिता में बची हुई एकमात्र भारतीय शटलर मालविका के सामने कड़ी चुनौती है क्योंकि अंतिम आठ चरण में उनका मुकाबला चौथी वरीयता प्राप्त और दो बार की विश्व चैंपियन जापान की अकाने यामागुची से होगा। हालांकि जापानी शटलर ने मालविका के खिलाफ दोनों मुकाबलों में जीत हासिल की है, लेकिन भारतीय शटलर यामागुची को हराने के करीब पहुंच गई थी और उन्हें उम्मीद है कि इस बार वह जीत दर्ज कर पाएंगी।