पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति ममनून हुसैन का लंबी बीमारी के बाद बुधवार को यहां इंतकाल हो गया। उनके परिवार और पार्टी के नेताओं ने यह जानकारी दी है। वह 80 साल के थे। हुसैन का जन्म 1940 में आगरा में हुआ था और वह 1947 में अपने माता-पिता के साथ पाकिस्तान आ गए थे। वह सितंबर 2013 से सितंबर 2018 तक पाकिस्तान के 12वें राष्ट्रपति रहे ‘डॉन’ अखबार ने पाकिस्तान मुस्लीम लीग-नवाज़ (पीएमएल-एन) के सिंध के अतिरिक्त महासचिव चौधरी तारीक के हवाले से कहा कि पीएमएल-एन नेता को पिछले साल फरवरी में कैंसर से ग्रस्त होने का पता चला था और कुछ दिनों से यहां एक निजी अस्पताल में उनका इलाज चल रहा था, जहां उन्होंने अंतिम सांस ली।
राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने हुसैन के इंतकाल पर अफसोस जताया। पीएमएल-एन के अध्यक्ष शहबाज शरीफ ने भी हुसैन के निधन पर दुख जताया। उन्होंने ट्विटर पर कहा कि आज, हमने एक कीमती शख्स खो दिया है जो पाकिस्तान से प्यार करता था और एक अच्छा किरदार रखता था। शहबाज ने कहा कि मुल्क के लिए उनकी खिदमतों को लंबे वक्त तक याद रखा जाएगा। विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने ट्वीट किया कि पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति ममनून हुसैन के इंतकाल पर मेरी गहरी संवेदना है। अल्लाह उनके परिवार को इस बड़ी क्षति को सहन करने की ताकत दे।
कराची के एक कपड़ा कारोबारी, हुसैन 1970 और 1980 के दशक में मुस्लिम लीग से जुड़े थे और पीएमएल-एन के शुरुआती दिनों से ही उसके सक्रिय सदस्य बने रहे। वह जून से अक्टूबर 1999 तक सिंध के गवर्नर थे जब तत्कालीन पाकिस्तानी सेना प्रमुख जनरल परवेज मुशर्रफ ने प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की सरकार का तख्ता पलट किया था।