उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के बाद से ही भतीजे अखिलेश यादव के खिलाफ बगावत का झंडा लिए घूम रहे प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के प्रमुख शिवपाल यादव को जिस उचित समय का इंतजार था। वह अब बेहद करीब आ गया है। शिवपाल यादव ने गुरुवार को लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई है। सूत्रों के मुताबिक, प्रसपा प्रमुख इस दौरान भतीजे अखिलेश के खिलाफ नई जंग का ऐलान करने वाले हैं, जिन पर वह अपमानित करने का आरोप लगा रहे हैं।
काफी दिनों से अटकलें हैं कि शिवपाल यादव भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का दामन थाम सकते हैं। हालांकि, उनकी तरह सपा से नाराज चल रहे आजम खान से मुलाकात के बाद से यह भी चर्चा है कि वह दिग्गज मुस्लिम नेता के साथ मिलकर कोई नया मोर्चा बना सकते हैं। पिछले कुछ दिनों में जिस तरह उन्होंने योगी सरकार को निशाने पर लिया है, उससे यह काफी हद तक साफ हो गया है कि वह भाजपा में शामिल नहीं होने जा रहे हैं।
मुलायम सिंह यादव की विरासत को लेकर अखिलेश और शिवपाल के बीच 2017 विधानसभा चुनाव से पहले ही फूट पड़ गई थी। उन्होंने सपा को छोड़कर अपनी नई पार्टी बना ली। लेकिन 2022 के विधानसभा चुनाव में बड़े भाई मुलायम सिंह यादव के कहने पर वह भतीजे अखिलेश का साथ देने को तैयार हो गए। हालांकि, इस बार भी उन्हें निराशा ही हाथ लगी और गठबंधन के बदले महज एक ही सीट दी गई। उन्हें सपा के सिंबल पर ही जसवंतनगर से लड़ाया गया। इसके बाद सपा गठबंधन में सक्रिय भूमिका या नेता प्रतिपक्ष बनाए जाने की मांग भी ठुकरा दी गई। इससे आहत शिवपाल ने बागी रुख अपना लिया है।