वायुसेना प्रमुख वीआर चौधरी (VR Choudhary) ने मंगलवार को कहा कि कि कोयंबटूर में भारतीय वायुसेना प्रशिक्षण अकादमी में यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाली महिला अधिकारी का कोई ‘टू-फिंगर टेस्ट’ (Two-Finger Test) नहीं किया गया. 8 अक्टूबर को आईएएफ दिवस (IAF Day) से पहले वार्षिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए, उन्होंने कहा, “कोई टू-फिंगर टेस्ट नहीं किया गया है. टू-फिंगर टेस्ट के बारे में जानकारी गलत है. वायु सेना कानून बहुत सख्त है. सच्चाई यह है टेस्ट नहीं किया गया था. जांच रिपोर्ट के आधार पर एक्शन लिया जाएगा.
तमिलनाडु पुलिस द्वारा प्रारंभिक जांच किए जाने के कुछ दिनों बाद एक स्थानीय अदालत ने भारतीय वायुसेना को मामले की गहन जांच करने की अनुमति दी है. वायुसेना प्रमुख ने कहा कि हम जांच रिपोर्ट के आधार पर मामले में अनुशासनात्मक कार्रवाई करेंगे. कोयंबटूर में भारतीय वायुसेना की एक महिला अधिकारी ने 10 सितंबर को एक सहकर्मी पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था. 28 साल की महिला वायुसेना अधिकारी ने भारतीय वायुसेना के अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाए हैं. महिला अधिकारी कहना है कि उन्हें प्रतिबंधित ‘टू-फिंगर टेस्ट’ कराने और आरोपी फ्लाइट लेफ्टिनेंट के खिलाफ शिकायत वापस लेने के लिए मजबूर किया गया.
साथी लेफ्टिनेंट पर रेप करने का आरोप
महिला अधिकारी ने बलात्कार की पुष्टि करने के लिए उसके साथ अवैध टू-फिंगर टेस्ट करने और उसके प्रति खराब रवैया अपनाने का गंभीर आरोप लगाया है. महिला अधिकारी का कहना है कि सबूतों के साथ भी छेड़छाड़ की गई है. दरअसल, बीते दिनों तमिलनाडु से एयरफोर्स की महिला अधिकारी के साथ बलात्कार का मामला सामने आया था. महिला अधिकारी ने साथी लेफ्टिनेंट पर रेप करने का आरोप लगाया था.
तमिलनाडु पुलिस द्वारा 20 सितंबर को दर्ज की गई FIR के अनुसार महिला अधिकारी ने कहा कि तमिलनाडु के कोयंबटूर जिले के वायु सेना प्रशासनिक कॉलेज में परिसर में उसके साथ बलात्कार किया गया था. उसने यह भी कहा कि कॉलेज के अधिकारियों ने उससे कहा कि अगर वह टखने की चोट (जो कथित अपराध से घंटों पहले झेली थी) का दर्द सह सकती है, तो वह परिसर में अपने बलात्कारी को देखने के दर्द से भी निपट सकती है. हालांकि, IAF ने आरोपों पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया.