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देवबंद : हिंद की चादर गुरू तेग बहादुर जी की शहादत को किया नमन

रिपोर्ट- गौरव सिंघल, विशेष संवाददाता,दैनिक संवाद,सहारनपुर मंडल, उप्र:।।
 
देवबंद (दैनिक संवाद न्यूज)।गुरूद्वारा श्री गुरूनानक सभा में हिंद की चादर नौवें पातशाह साहिब श्री गुरू तेग बहादुर जी का शहीदी पर्व श्रद्धा व उत्साह से मनाया गया। संगत को गुरू साहिब का जीवन व शहीदी इतिहास सुनाते हुए कथावाचक भाई अमृतपाल सिंह ने कहा कि गुरू तेग बहाुदर जी का जन्म 6 वें पातशाह साहिब श्री गुरू हरगोबिंद जी के घर हुआ था। उनका बचपन का नाम त्याग मल था।
जंग के मैदान में बेटे के जौहर देखकर पिता ने उनका नाम त्याग मल से तेग बहादुर रख दिया। गुरू जी जब आनंदपुर साहिब प्रवास पर थे तब उनके पास कश्मीरी पंडितों का एक जत्था पहुंचा और औरंगजेब द्वारा जबरन धर्म परिवर्तन कराने की बात बताते हुए उनका धर्म बचाने की गुहार लगाई। गुरू जी ने कहा कि औरंगजेब से कह दो अगर वे गुरू तेग बहाुदर को इस्लाम कबूल करवा ले तो हम सब इस्लाम कबूल कर लेंगे। ऐसा कहकर गुरू जी दिल्ली की ओर चल दिए। औरंगजेब ने आगरा में गुरू जी को गिरफ्तार कर लिया। गुरू जी को एक पिंजरे में कैद कर पहले उनके शिष्यों भाई मतिदास, भाई सती दास व भाई दयाला जी को इस्लाम कबूल कराने का प्रयास किया गया।
लेकिन उनके नही मानने पर भाई मतिदास जो जिंदा आरे से चीरकर, भाई सतिदास को रूई में लपेटकर आग लगाकर व भाई दयाला जी को देग में उबालकर शहीद किया गया। गुरू जी के न डोलने पर औरंगजेब के आदेश पर जल्लाद ने दिल्ली के चांदनी चौक पर उनका सिर धड़ से अलग कर शहीद किया। उस स्थान पर आज गुरूद्वारा शीष गंज साहिब सुशोभित है। इस दौरान सेठ कुलदीप कुमार, श्याम लाल भारती, चंद्रदीप सिंह, गुरजोत सिंह सेठी, सचिन छाबड़ा, बलदीप सिंह, चन्नी बेदी, जितेश बतरा, अमृत सिंह कपूर, प्रिंस कपूर आदि मौजूद रहे।