बांग्लादेश के मंदिरों में तोड़फोड़ और हिंदुओं पर हमले के मामले रुकने का नाम नहीं ले रहे हैं। पिछले दिनों दुर्गा पंडाल में हुए हमले के बाद अब शुक्रवार को बांग्लादेश के नोआखली जिले में एक इस्कान मंदिर पर भीड़ ने कथित तौर पर हमला कर दिया। इसमें एक इस्कान मंदिर के सदस्य (श्रद्धालु) की मौत हो गई। इस पूरे हिंसक मामले पर भारत के इस्कान समुदाय के लोगों में रोष का माहौल है।
कोलकाता के इस्कान मंदिर के उपाध्यक्ष राधारमण दाश ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस घटनाक्रम से अवगत कराया है। उन्होंने कहा कि हमने प्रधानमंत्री के आवास पर फोन किया और उनके सचिव से पीएम को सूचित करने का अनुरोध किया कि उन्हें हिंसा के इस चक्र को समाप्त करने के लिए बांग्लादेश के पीएम से बात करनी चाहिए। कल लगभग 500 लोगों की भीड़ ने हमारे मंदिर परिसर में प्रवेश किया और देवताओं को तोड़ा, भक्तों को बेरहमी से घायल किया; उनमें से एक की मृत्यु हो गई है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि हमने संयुक्त राष्ट्र को भी एक पत्र लिखा है और उनसे इसकी निंदा करने और बांग्लादेश में एक प्रतिनिधिमंडल भेजने की अपील की है। यह एक बहुत दुर्भाग्यपूर्ण घटना है।
वहीं, बांग्लादेश के नोआखली इस्कान समुदाय ने घटना की जानकारी अपने अधिकारिक ट्विटर अकाउंट से दी है। ट्वीट में कहा, ‘यह बहुत दुख के साथ है कि इस्कान सदस्य पार्थ दास की कल 200 से अधिक लोगों की भीड़ ने बेरहमी से हत्या कर दी। उनका शव मंदिर के बगल में एक तालाब में मिला। हम बांग्लादेश सरकार से आह्वान करते हैं कि इस संबंध में तत्काल कार्रवाई की जाए।’
इस्कान ने एक और ट्वीट में कहा, ‘इस्कॉन मंदिर और भक्तों पर बांग्लादेश के नोआखली में भीड़ द्वारा हिंसक हमला किया गया। मंदिर को काफी नुकसान हुआ और एक भक्त की हालत गंभीर बनी हुई है। हम बांग्लादेश सरकार से सभी की सुरक्षा सुनिश्चित करने का आह्वान करते हैं। हिंदुओं और अपराधियों को न्याय के कटघरे में लाया जाए।’
इस्कान के अधिकारियों ने बांग्लादेश सरकार से तत्काल कार्रवाई करने, सभी हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने और अपराधियों को न्याय के कटघरे में लाने का आग्रह किया है।