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सेना के गश्ती दल पर हमला, प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन उल्फा ने ली जिम्मेदारी

प्रतिबंधित संगठन उल्फा (इंडिपेंडेंट) ने असम के तिनसुकिया जिले में कल सेना के एक गश्ती दल पर घात लगाकर हमला करने की मंगलवार को जिम्मेदारी ली। सुरक्षा बलों ने दावा किया है कि इस दौरान कम से कम एक उग्रवादी घायल हो गया। उग्रवादी संगठन ने मीडिया को ईमेल पर जारी एक बयान में कहा कि घात लगाकर किए गए हमले को ‘ऑपरेशन लखीपाथर’ कूटनाम दिया गया था और उग्रवादियों द्वारा 28 नवंबर को मनाए जाने वाले ‘विरोध दिवस’ को चिह्नित करने के लिए यह हमला किया गया था।
क्षेत्र में प्रभुत्व स्थापित करने के लिये सेना का दल सोमवार सुबह बरपाथर इलाके में पेंगेरी-डिगबोई मार्ग पर गश्त कर रहा था तभी यह हमला किया गया। उग्रवादियों ने सबसे आगे चल रहे दल के बारुदी सुरंगरोधी वाहन (एमपीवी) को निशाना बनाकर आईईडी विस्फोट किया और 20-30 गोलियां चलाईं। सेना ने दावा किया कि गाड़ी के टायर पंचर होने के अलावा उसे और कोई नुकसान नहीं उठाना पड़ा जबकि उसकी जवाबी गोलीबारी में उल्फा(आई) का कम से कम एक सदस्य घायल हुआ है।
उसने कहा कि जंगल में पाए गए खून के निशान के आधार पर यह साफ है। सेना के प्रवक्ता ने कहा कि घटना के तत्काल बाद इलाके में राज्य पुलिस के साथ एक संयुक्त अभियान शुरू किया गया। दूसरी तरफ उल्फा(आई) ने दावा किया कि हमले में एमपीवी को नुकसान पहुंचा और कई सुरक्षाकर्मी घायल हुए हैं।